भालू के हमले में 42 वर्षीय महिला की मौत

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पिथौरागढ़। तेजम तहसील के ग्राम पंचायत बोरागांव के कांपा तोक में रविवार सुबह जंगली भालू के हमले में 42 वर्षीय महिला की मौत हो गई । भालू द्वारा महिला के शव को बुरी तरह फाड़ा गया था। बसंती देवी 42 वर्ष पत्नी त्रिलोक सिंह कांपा तोक में घर पर अकेली रहती थी। उसके पति और बच्चे हल्द्वानी में रोजगार और पढ़ाई करते हैँ। थल -मुनस्यारी मार्ग से लगभग 3 किमी की खड़ी चढ़ाई पर स्थित कांपा तोक में कुछ ही मकान हैं। मकान एक दूसरे से काफी दूरी पर स्थित हैं। ग्रामीणों के अनुसार यह दर्दनाक घटना रविवार सुबह की बताई जा रही है। बसंती देवी अपने घर के बाहर दैनिक कार्यों में व्यस्त थीं। अचानक जंगल की तरफ से आए भालू ने उन पर हमला कर दिया और बुरी तरह जख्मी कर दिया । बसेती को बचाव के लिए समय तक नहीं मिला । जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना की सूचना मिलते ही क्षेत्र में अफरा-तफरी मच गई। ग्रामीणों ने तत्काल पुलिस और वन विभाग को सूचित किया। थानाध्यक्ष नाचनी मंगल सिंह पुलिस दल के साथ घटनास्थल पर पहुंचे और पंचनामा भरकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। आसपास के लोगों ने जब शोर सुना तो वे मदद के लिए दौड़े, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी। स्थानीय निवासी बसंती लोहनी ने बताया कि मृतका लंबे समय से गांव में अकेली रह रही थीं। सुबह के समय खेतों की ओर जाने के दौरान भालू ने अचानक झाड़ियों से निकलकर हमला किया। ग्रामीणों के बचाव के लिए पहुंचने से पहले ही महिला की मृत्यु हो चुकी थी। घटना के बाद से गांव में दहशत का माहौल है। लोगों ने बताया कि पिछले कुछ हफ्तों से क्षेत्र में जंगली जानवरों की गतिविधियां बढ़ गई हैं। कई बार भालू और तेंदुए बस्तियों के पास नजर आ रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि वन विभाग को पहले ही इन घटनाओं की सूचना दी गई थी, लेकिन कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। बच्चों और बुजुर्गों को घर से बाहर भेजना भी जोखिम भरा हो गया है। थानाध्यक्ष मंगल सिंह ने कहा कि मामले की जानकारी वन विभाग को दे दी गई है। टीम को इलाके में गश्त बढ़ाने और जंगली जानवर की गतिविधि पर नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं। आसपास के लोगों को सतर्क रहने को कहा गया है। वन विभाग के अनुसार, भालू संभवतः भोजन की तलाश में आबादी वाले क्षेत्र में घुस आया। विभाग की टीम ने घटना स्थल का निरीक्षण किया है और भालू की मौजूदगी का पता लगाने के लिए सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है। इस घटना ने एक बार फिर सीमांत क्षेत्रों में बढ़ते मानव-वन्यजीव संघर्ष की समस्या को उजागर किया है। ग्रामीणों ने प्रशासन से मांग की है कि ऐसे घटनाओं की रोकथाम के लिए प्रभावित इलाकों में चेतावनी तंत्र, गश्त व्यवस्था और प्रकाश की उचित व्यवस्था की जाए। तेजम तहसील में प्रतिवर्ष इस सीजन में भालू के हमले बढ़ जाते हैं। उच्च हिमालयी भू भाग से भालू इस समय निचले क्षेत्रों में आ जाते हैँ । लगभग छह वर्ष पूर्व तेजम तहसील के एक गांव में भालू और एक युवक आपस में लड़ते -लड़ते चट्टाटान से गिर गए थे और दोनों की मौत हो गई थी । इस वर्ष विकास खंड मुनस्यारी में भालू अभी तक तीन लोगों को घायल कर चुका है। महिला की मौत से पूरे क्षेत्र में शोक की लहर है। ग्रामीणों ने सरकार और वन विभाग से पीड़ित परिवार को मुआवजा देने और क्षेत्र में सुरक्षा उपायों को मजबूत करने की मांग की है।

 

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