उत्तराखंड

नाबालिग से दुष्कर्म के दोषी को 20 साल की सजा

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नई टिहरी। विशेष न्यायाधीश पोक्सो योगेश कुमार गुप्ता की अदालत ने नाबालिग से दुष्कर्म के दोषी को पोक्सो ऐक्ट में 20 वर्ष के कठोर कारावास तथा 20 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। अर्थदंड न दिए जाने की स्थिति में अभियुक्त को छह माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। विशेष न्यायाधीश ने अर्थदंड की धनराशि में से 15 हजार रुपये पीड़िता को दिए जाने के आदेश दिए हैं। विशेष लोक अभियोजक पोक्सो चंद्रवीर नेगी ने बताया कि पीड़िता के चचेरे भाई ने ग्राम विलोगी, मुनिकीरेती टिहरी गढ़वाल निवासी प्रभुदयाल के खिलाफ उनकी चचेरी बहन के साथ दुष्कर्म की रिपोर्ट बीते अक्तूबर 2021 में थाना मुनीकिरेती में दर्ज कराई। पुलिस को दी तहरीर में पीड़िता के चचेरे भाई ने बताया कि वह मसूरी स्थित एक होटल में नौकरी करता है तथा पीड़िता, जो कि मानसिक रुप में कमजोर भी है, अपने माता-पिता के साथ गांव में रहती हैं। बताया कि पीड़िता जब अपने रिश्तेदार के यहां गई थी, तो आरोपी प्रभुदयाल ने उनकी चचेरी बहिन के साथ दुष्कर्म किया, जिसकी जानकारी कुछ दिनों बाद पीड़िता मां ने उसे दी। जिसके बाद वादी ने आरोपी के खिलाफ थाना मुनिकीरेती में तहरीर दी। थाना पुलिस ने मामले की छानबीन के बाद संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज करते हुए आरोपी के खिलाफ न्यायालय में चार्जशीट दाखिल की। पीड़िता के अधिवक्ता विशेष लोक अभियोजक पोक्सो चंद्रवीर नेगी ने मामले में 9 साक्ष्य व 8 दस्तावेज पेश किए। जिसके बाद बीते गुरुवार को विशेष न्यायाधीश पोक्सो योगेश कुमार गुप्ता ने आरोपी प्रभुदयाल पुत्र जगदीश प्रसाद को पोक्सो एक्ट की धाराओं में दोषी पाते हुए 20 साल कठोर कारावास तथा 20 हजार अर्थदंड की सजा सुनाई।

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