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एनआईआरएफ की रैंकिंग के लिए तैयारियों में जुटें विश्वविद्यालय: डा. रावत

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देहरादून। प्रदेश के राजकीय एवं निजी विश्वविद्यालयों को एनआईआरएफ (नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क) की राष्ट्रीय रैंकिंग में स्थान प्राप्त करने को लेकर आज सहकारिता, उच्च शिक्षा, दुग्ध विकास एवं प्रोटोकॉल (स्वतंत्र प्रभार) राज्य मंत्री की अध्यक्षता में सचिवालय स्थित वीर चंद्र सिंह गढ़वाली सभागार में मैराथन बैठक हुई। जिसमें कुमांऊ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एन.के.जोशी व ग्राफिक एरा के कुलपति प्रो. संजय जसोला एवं प्रो. राकेश शर्मा ने संयुक्त रूप से एर्नअइाआरएफ रैंकिंग में आने के लिए किये जाने वाली तैयारियों के संदर्भ में प्रस्तुतिकरण दिया। विदित है कि गत वर्ष कुमाऊ विवि के फार्मेसी विभाग को एनआईआरएफ की 75वीं रैंक प्राप्त हुई। जबकि ग्राफिक एरा विवि को ओवर ऑल श्रेणी में 97 एवं इंजीनियरिंग श्रेणी में 89वीं रैंक प्राप्त की थी। देश में राज्य के विश्वविद्यालयों के शिक्षा का स्तर चुस्त-दुरस्त करने के लिए आयोजित की गई इस बैठक में उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि सरकार का लक्ष्य अगल वर्ष राज्य के 10 राजकीय एवं निजी विश्वविद्यालय को राष्ट्रीय रैंकिंग में उचित स्थान दिलाना है। जिसको लेकर विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को अभी से तैयारी करने के निर्देश दे दिये गये हैं। डॉ. रावत ने कहा कि राज्य सरकार उच्च शिक्षा के विभिन्न क्षेत्रों में बेहत्तर कार्य करने वाले 05 शिक्षकों को ‘डा0 भक्त दर्शन’ पुरस्कार से सम्मानित करेगी। यह वर्ष 2019-20 का पुरस्कार इस बार आगामी 01 नवम्बर को दून विश्वविद्यालय में दिया जायेगा। जबकि अगली बार से प्रत्येक वर्ष डा. भक्त दर्शन की जयंती पर माह फरवरी में दिया जायेगा। बैठक में उच्च शिक्षा मंत्री ने निजी विश्वविद्यालय के संचालकों से एक-एक गांव गोद लेने तथा एक-एक महाविद्यालयों को तकनीकी सहयोग देने का अहवान किया। जिस पर सभी ने अपनी सहमति व्यक्त की।
बैठक में उच्च शिक्षण संस्थानों को खोले जाने पर भी चर्चा हुई। जिसमें अधिकतर शिक्षण संस्थानों के संचालकों एवं कुलपतियों ने भारत सरकार व राज्य सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुरूप अपने संस्थान खोलने पर सहमति जताई। उच्च शिक्षण संस्थान खोले जाने के बावत उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि सभी सरकारी एवं निजी विश्वविद्यालय के प्रशासन को नवम्बर माह में संस्थान खोलने के लिए मानसिक रूप से तैयार रहना होगा। इस संबंद्ध में भारत सरकार के दिशा निर्देश जारी होते ही राज्य सरकार भी शीघ्र निर्णय ले लेगी। आज की बैठक को एक सकारात्मक पहल बताते हुए डॉ. रावत ने कहा कि इस संबंद्ध में शीघ्र ही मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से चर्चा करने के उपरांत एक सप्ताह के भीतर निर्णय लिया जायेगा। बैठक में प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा आनंद वर्द्धन, सलहाकार उच्च शिक्षा एमएसएम रावत, के.डी पुरोहित, प्रभारी सचिव विनोद रतूड़ी, कुलपति उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय ओ.पी.एस. नेगी, कुलपति श्रीदेव सुमन विवि डॉ. पी.पी.ध्यानी, कुलपति कुमाऊं विवि प्रो. एन.के.जोशी, कुलपति सोबन सिंह जीना विवि प्रो. एन.एस. भंडारी, निदेशक उच्च शिक्षा डॉ. कुमकुम रैतेला, सहित श्रीराम हिमालयन, ग्राफिक एरा, डीआईटी, देव संस्कृत, पतंजलि, क्वांटम, श्रीगुरू रामराय, उत्तराखंड पेट्रोलियम, जी हिमगिरी, सरदार भगवान सिंह, सुभारती, कोर, आईएमएस, मदरहुड, इक्फाई आदि विश्वविद्यालय के कुलपति एवं संचालक उपस्थिति रहे।

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