उत्तराखंड

सरकार जोशीमठ के लोगों से बात करके अपना पक्ष कोर्ट में रखे

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चमोली। उच्च न्यायालय नैनीताल में जोशीमठ भू धसांव को लेकर चल रही सुनवाई में याचिकाकर्ता उपपा के केंद्रीय अध्यक्ष पीसी तिवारी ने कहा है कि सरकार प्रभावित लोग और स्वतंत्र वैज्ञानिकों की राय लेने के बाद ही अपना पक्ष रखे। तिवारी ने बताया कि उनकी जनहित याचिका में सुनवाई करते हुए एनटीपीसी द्वारा कार्य शुरू करने और विस्फोट करने की अनुमति हेतु दायर प्रार्थना पत्र पर एनडीएमए नई दिल्ली में सभी पक्षों के साथ सुनवाई कर सरकार के माध्यम से अपनी राय न्यायालय में प्रस्तुत करने के आदेश दिए थे। एनडीएमए कि इस रिपोर्ट पर विचार करने के लिए उत्तराखंड की मुख्य सचिव ने 8 अगस्त को देहरादून में बैठक बुलाई थी। बैठक के याचिकर्ता और उनके अधिवक्ताओं ने इस मामले में एनडीएमए को उनके द्वारा दिए गए लिखित सुझावों को एनडीएमए की रिपोर्ट में शामिल न करने का आरोप लगाते हुए रिपोर्ट पर अपनी असहमति व्यक्त की थी। और सरकार को इस आशय पर अपनी लिखित आपत्ति भी प्रस्तुत की। जिसमें एनडीएमए की रिपोर्ट को एक पक्षीय बताते हुए सरकार से इस संवेदनशील तथा महत्वपूर्ण मामले में जोशीमठ के प्रभावित लोगों की राय जानने के लिए जनसुनवाई करने तथा ऐसे निष्पक्ष और स्वतंत्र विषय विशेषज्ञों, भू वैज्ञानिकों की राय लेने की मांग की थी। जो एनटीपीसी तथा एनडीएमए से प्रभावित न रहे हों।

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