होटलों में खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता मानकों के अनुसार न होने पर होगी कार्यवाही : डीएम
जिलाधिकारी ने कोटद्वार शहर के विभिन्न होटलों में की छापेमारी
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने बुधवार देर सांय कोटद्वार शहर के विभिन्न मिष्ठान की दुकानों में खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता व स्वच्छता को लेकर छापेमारी की। छापेमारी के दौरान कुछ जगहों पर उत्पादित मिष्ठान अनहाइजेनिक स्थिति में पाई गई, साथ ही एडिबल व नॉन एडिबल प्रोडक्ट एक ही स्थान पर रखे पाए गए। जिसे देखते हुए जिलाधिकारी ने उत्पादों के सैंपल लेकर जांच के लिए भेजने के निर्देश दिए है। जिलाधिकारी ने कहा कि खाद्य सुरक्षा हमारी प्राथमिकता है और शहर में लोगों को गुणवत्तापूर्ण और स्वच्छ खाद्य सामग्री मिले। कहा कि जिन होटलों में खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता मानकों के अनुसार नहीं पाई जाती है, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। कहा कि इस तरह के छापेमारी अभियान भविष्य में भी जारी रहेगी।
मिष्ठान जैसे उत्पादों की गुणवत्ता को लेकर मिल रही शिकायतों का संज्ञान लेकर जिलाधिकारी ने गत दिवस बुधवार की शाम को कोटद्वार शहर में विभिन्न मिष्ठान उत्पादन कारखानों व दुकानों पर छापेमारी की। छापेमारी के दौरान उन्होंने दुकानों/कारखानों के सामान्य स्टोर, कोल्ड स्टोर, ड्रायर रूम सहित रसोई इत्यादि स्पॉट्स का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान कई दुकानों में साफ-सफाई व्यवस्था ठीक नहीं पाए जाने पर संबंधित स्वामियों को नोटिस जारी किया और भविष्य में इस तरह की लापरवाही ना हो इसके लिए सख्त हिदायत भी दी। दुकानों/कारखानों में तैयार मिष्ठान उत्पाद को अन्हाइजेनिक स्थिति में देखते हुए उन्होंने मिष्ठान उत्पाद से जुड़ी तीन दुकानों/कारखानों से मावा, जबकि एक जगह से वनस्पति घी का सैम्पल लेकर इसकी गुणवत्ता की जांच हेतु लैब भेजने के निर्देश फूड सैफ्टी ऑफिसर को दिए। छापेमारी के दौरान इसमे से मिष्ठान उत्पादन से जुड़ा एक व्यवसायी मिष्ठान उत्पाद कारखाने का लाइसेंस नहीं दिखा पाया। जिस पर जिलाधिकारी ने संबंधित स्वामी को जल्द लाइसेंस प्रस्तुत करने को कहा हैं। इस दौरान उपजिलाधिकारी कोटद्वार सोहन सैनी, तहसीलदार साक्षी उपाध्याय, वरिष्ठ खाद्य सुरक्षा अधिकारी संदीप मिश्रा सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
गोदाम में मिली दो दर्जन डीजल की टंंकियां
कोटद्वार : छापेमारी के दौरान मिष्ठान गोदाम में लगभग दो दर्जन डीजल स्टोरेज संबंधी बड़ी टंकियां भी पाई गयी। जिलाधिकारी ने कहा कि बिना लाइसेंस के इतनी बड़ी मात्रा में इस प्रकार से ज्वलनशील ईंधन को रखना सुरक्षा की दृष्टि से बिल्कुल मुनासिफ नहीं है। उन्होंने उपजिलाधिकारी कोटद्वार व जिला पूर्ति अधिकारी को निर्देश दिए कि कौन सा पैट्रोल पम्प डीजल की इतनी अधिक मात्रा को बिना लाइसेंस के खुले तौर पर स्टोरेज हेतु दे रहा है इसकी जांच प्राथमिकता के आधार पर करें।