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इमरान का गुलामी की बेडिय़ों को तोडऩे ऐलान, पाकिस्तान में तूफान

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-इस्लामाबाद में चप्पे-चप्पे पर सुरक्षा
इस्लामाबाद, पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी ‘पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ’ (पीटीआई) ने एक बार फिर से देश में बड़े आंदोलन का बिगुल बजा दिया है। इससे पाकिस्तान में हडक़ंप मच गया है। इमरान खान की ओर से यह संदेश दिया गया है कि अब गुलामी की बेडिय़ों को नहीं सहन करेंगे और इसे उखाड़ फेकेंगे। इससे इस्लामाबद में प्रस्तावित प्रदर्शन के मद्देनजर सरकार ने रविवार को सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं।
इमरान खान ने जनता से ‘‘गुलामी की बेडिय़ों को तोडऩे’’ के लिए एकजुट होने का आह्वान किया है। पाकिस्तान सरकार ने ‘पीटीआई’ द्वारा इस्लामाबाद में रविवार को किए जाने वाले प्रदर्शन को रोकने के लिए राष्ट्रीय राजधानी की ओर जाने वाले राजमार्गों को शनिवार को ही बंद कर दिया, इंटरनेट और मोबाइल सेवाओं को आंशिक रूप से निलंबित कर दिया, सार्वजनिक परिवहन पर रोक लगा दी तथा महत्वपूर्ण सडक़ों को कंटेनर खड़े कर अवरुद्ध कर दिया। इसके साथ ही भारी संख्या में सुरक्षाबलों को भी तैनात किया गया है। पीटीआई’ के नेतृत्व ने सर्वसम्मति से निर्णय लिया है कि योजनानुसार रविवार को प्रदर्शन किया जाएगा तथा इसे न तो स्थगित किया जाएगा और न ही लक्ष्य हासिल होने से पहले इसे समाप्त किया जाएगा। जियो न्यूज की खबर के मुताबिक, ‘पीटीआई’ के नेताओं ने खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री आवास पर रविवार को एक उच्चस्तरीय बैठक की, जिसमें प्रदर्शन करने के लिए रणनीति को अंतिम रूप दिया गया। खबर में बताया गया कि खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री अली अमीन गंडापुर ने कहा कि वह प्रस्तावित प्रदर्शन की तैयारियों का निरीक्षण करने और इस्लामाबाद तक पार्टी के मार्च का नेतृत्व करने के लिए अपराह्न तीन बजे स्वाबी पहुंचेंगे।
मुख्यमंत्री ने मार्च में शामिल होने के इच्छुक पार्टी कार्यकर्ताओं को अपराह्न तीन बजे तक स्वाबी पहुंचने का भी निर्देश दिया है। पीटीआई दो महीने में दूसरी बार प्रदर्शन करने जा रही है। प्रदर्शन स्थगित करने के सरकार के आह्वान को नजरअंदाज करते हुए पार्टी ने इस्लामाबाद की ओर बढऩे की घोषणा की है। वहीं, अधिकारियों ने इस प्रदर्शन के दौरान संभावित खतरे की चेतावनी जारी की है। इमरान खान की पार्टी ने अपनी तीन मांगों को लेकर इस्लामाबाद तक एक लंबा मार्च करने की पिछले सप्ताह घोषणा की थी। पार्टी जेल में बंद खान और अन्य नेताओं को रिहा करने, आठ फरवरी के चुनावों में पीटीआई की जीत को मान्यता देने के अलावा 26वें संविधान संशोधन को निरस्त करने की मांग कर रही है। 26वें संविधान संशोधन ने न्यायाधीशों और मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति की प्रक्रिया को बदल दिया था।
खबर के अनुसार, राष्ट्रीय आतंकवाद निरोधक प्राधिकरण (एनएसीटीए) ने इस्लामाबाद में पीटीआई के प्रदर्शन के दौरान संभावित आतंकवादी हमले की चेतावनी देते हुए सुरक्षा अलर्ट जारी किया है। इसने चेतावनी दी कि पीटीआई की सार्वजनिक सभा को आतंकवादी निशाना बना सकते हैं। इस्लामाबाद में 18 नवंबर से धारा-144 लागू है, जिसके तहत लोग एकत्र नहीं हो सकते। दूसरी ओर, पंजाब सरकार ने भी 23 नवंबर से 25 नवंबर तक पूरे प्रांत में धारा 144 लागू कर दी है, जिसके तहत विरोध प्रदर्शन, सार्वजनिक सभाएं, रैलियां और धरने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। कड़ी सुरक्षा और प्रतिबंधों के बावजूद, पीटीआई अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन करने पर अड़ी हुई है।
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