झारखंड की कमान एक बार फिर हेमंत सोरेन के हाथ, चौथी बार ली सीएम पद की शपथ
रांची , झारखंड के 14वें मुख्यमंत्री के रूप में हेमंत सोरेन ने गुरुवार को शपथ ली। रांची के ऐतिहासिक मोरहाबादी मैदान में शपथ ग्रहण समारोह का आयोजन किया गया, जहां राज्यपाल संतोष गंगवार ने उन्हें पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। इस दौरान मंच पर हेमंत सोरेन के पिता और पूर्व सीएम शिबू सोरेन और मां रूपी सोरेन, अखिलेश यादव, तेजस्वी यादव समेत कई दिग्गज नेता मौजूद रहे।
शपथ ग्रहण से पहले हेमंत सोरेन ने सोशल मीडिया पर एक भावुक पोस्ट के जरिए जनता का आभार व्यक्त करते हुए प्रदेश के सामाजिक न्याय, एकता और संघर्ष के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई। उन्होंने एक्स पर लिखा, आज का दिन ऐतिहासिक होगा – एक ऐसा दिन जो हमारे सामूहिक संघर्ष, प्रेम-भाईचारे की भावना और न्याय के प्रति हम झारखंडियों के प्रतिबद्धता को और मजबूत करेगा। झारखंड की महान धरा ने हमेशा से विरोध और संघर्ष को जन्म दिया है और झामुमो भगवान बिरसा, भगवान सिदो-कान्हू, अमर शहीद तेलंगा खडिय़ा, फूलो- झानो, पोटो हो, शेख भिखारी समेत अनगिनत वीरों के संघर्षों से भरी उसी विरासत को समेटे हर दिन आगे बढ़ रहा है।उन्होंने कहा कि आज का दिन राजनीतिक जीत के बारे में नहीं, सामाजिक न्याय के प्रति संघर्ष, सामाजिक एकता को प्रखर करने की हर रोज़ लड़ी जानी वाली लड़ाई को दोहराने का दिन है।आज का यह दिन यह भी बताता है कि लोकतंत्र पर बढ़ते दबाव के बीच झारखंड की महान जनता एक साथ खड़ी है। आज हर गांव, हर शहर में एक आवाज़ गूंज रहा है – अधिकार, समानता, एकता मतलब झारखंडियत की आवाज। इसमें कोई संदेह न रखें – हमारी एकता ही हमारा सबसे बड़ा हथियार है। हमें न विभाजित किया जा सकता है, न ही शांत किया जा सकता है। जब जब वे हमें पीछे धकेलते हैं, हम आगे बढ़ते हैं। जब जब वे हमें शांत करना चाहते हैं, हमारी हूल, उलगुलान, क्रांति की आवाज और प्रखर होती जाती है क्यूंकि हम झारखंडी हैं, और झारखंडी झुकते नहीं है। हेमंत सोरेन ने आगे कहा था, आज जब सामाजिक संरचना में गहरी दरारें पैदा हो रही हैं, तब हमें अपने पूर्वजों की उस एकता और हर झारखंडी को साथ लेकर चलने के संकल्प को पुन: दोहराना होगा। उन्होंने राज्य के विकास के लिए अपनी प्रतिबद्धता जताते हुए कहा कि हमारी लड़ाई अटल है, अविराम है। संघर्ष जारी है और आखिरी सांस तक रहेगा। झारखंड की 81 सदस्यीय विधानसभा के लिए हुए चुनाव के नतीजे 23 नवंबर को घोषित किए गए थे। इसमें हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाले झामुमो, कांग्रेस, राजद गठबंधन को 56 सीटें हासिल हुई हैं। झामुमो को 34, कांग्रेस को 16, राजद को चार और भाकपा माले को दो सीटों पर जीत मिली है।