वायु प्रदूषण: दिल्ली में जारी रहेगा अस्पतालों का निर्माण कार्य
-सुप्रीम कोर्ट ने दी अनुमति, प्रदूषण के चलते निर्माण कार्य हैं प्रतिबंधित
नई दिल्ली, एजेंसी। दिल्ली एनसीआर में वायु प्रदूषण के मुद्दे पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को अस्पतालों की निर्माण गतिविधियों को जारी रखने की अनुमति दे दी है। मामले में अगली सुनवाई 10 दिसंबर को होगी। इससे पहले दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दायर कर राष्ट्रीय राजधानी में अस्पतालों की निर्माण गतिविधियों की अनुमति देने का आग्रह किया था। दिल्ली सरकार का कहना था कि कोविड-19 की तीसरी लहर के लिए तैयारी करने और उसका मुकाबला करने के लिए अस्पतालों के बुनियादी ढांचे में सुधार का काम शुरू कर दिया गया था और सात नए अस्पतालों का निर्माण शुरू किया गया था, लेकिन निर्माण प्रतिबंध के कारण काम बंद हो गया है।
चीफ जस्टिस ने कहा कि हमने केंद्र और एनसीटी के हलफनामे का अध्यय किया है। हमने प्रस्तावित निर्देशों को ध्यान में रखा है। हम दिल्ली और केंद्र को दो दिसंबर के आदेशों को लागू करने का निर्देश देते हैं। हम मामले को लंबित रखते हैं और अगले शुक्रवार यानी कि 10 दिसंबर को इस पर सुनवाई करेंगे।
प्रदूषण से निपटने के लिए केंद्र सरकार ने टास्क फोर्स का किया गठन
दिल्ली एनसीआर में जारी वायु प्रदूषण को लेकर केंद्र सरकार ने टास्क फोर्स का गठन किया है। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल कर इसकी जानकारी दी है। शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने बताया कि सरकार की तरफ से प्रदूषण से निपटने के लिए इंफोर्समेंट टास्क फोर्स और फ्लाइंग स्क्वाड का गठन किया गया है। ये टास्क फोर्स पांच सदस्यों वाली है और इन्हें विधायी शक्तियां भी दी गई हैं। टास्क फोर्स के पास सजा देने और प्रिवेंटिव विधायी शक्तियां भी हैं।