चमोली। विकासखंड के डिम्मर गांव की ऐतिहासिक और पौराणिक रामलीला का आयोजन 14 मार्च से होगा। जिसके लिए गांव में भव्य तैयारियां की जा रही है। इस बार गांव की रामलीला अपने आयोजन के 104वें साल में प्रवेश करेगी। डिम्मर गांव की रामलीला का अपना विशेष महत्व है। यहां हर साल भगवान बदरीविशाल के कपाट खुलने से पूर्व रामलीला का आयोजन किया जाता है। जिसका दिन भी बसंत पंचमी को भगवान बदरीविशाल के कपाटोद्घाटन के साथ तय किया जाता है। ग्रामीण कहते हैं कि गांव में भगवान श्रीलक्ष्मी नारायण का मंदिर है और भगवान बदरीविशाल के पुजारी होने के साथ ही भगवान राम को भी अपना अराध्य मानते हैं। जिसके चलते शताब्दी वर्ष पूर्व से यहां इस प्रकार रामलीला का आयोजन किया जाता रहा है। रामलीला कमेटी के अध्यक्ष संजय डिमरी, ग्रामीण गोवर्धन प्रसाद डिमरी, प्रकाश चंद्र डिमरी आदि का कहना है कि इस बार रामलीला का साल है। बताया कि 14 से होने वाली दस दिवसीय रामलीला आयोजन के लिए कलाकारों का रियाज और भव्य तैयारियां की जा रही है।