तीन साल में भी रोशन नहीं हुए एक दर्जन गांव
कोटद्वार। गांवों को रोशन करने की मंशा से शुरू की गई केन्द्र सरकार की सौभाग्य योजना औंधे मुंह गिरी है। आंकड़ों पर गौर करते तो विकासखंड दुगड्डा के न्याय पंचायत सिमलना में दर्जनों गांवों में विद्युतीकरण कर 2019 में आपूर्ति शुरू करनी थी। जमीनी हकीकत यह है कि अभी तक गांवों में विद्युत आपूर्ति शुरू नहीं हो पाई है। ग्रामीणों उपजिलाधिकारी कोटद्वार को ज्ञापन सौंपकर जल्द से जल्द विद्युतीकरण का कार्य पूरा कराने के लिए विद्युत विभाग के अधिकारियों को निर्देशित करने की मांग की है।
सांसद प्रतिनिधि चण्डी प्रसाद कुकरेती ने एसडीएम योगेश मेहरा को पत्र सौंपते हुए बताया कि प्रधानमंत्री सौभाग्य योजना के अन्तर्गत विकासखंड दुगड्डा के विभिन्न तोक/खण्ड ग्रामों को रोशन करने के लिए विद्युतीकरण कार्य वर्ष 2017-2018 में शुरू कराया गया। विद्युतीकरण का कार्य वर्ष 2019 में पूरा होना था, लेकिन अभी तक विद्युतीकरण का कार्य पूरा नहीं हो पाय है। जिस कारण ग्रामीणों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि विद्युतीकरण का कार्य एक कंपनी को सौंपा गया था, लेकिन विद्युत विभाग के अधिकारियों व कंपनी की लापरवाही के कारण अभी तक कई जगहों पर विद्युत पोल क्षेत्रों में पड़े हुए है। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि विद्युत केविल पेड़ों की टहनियों के सहारे खींची गई है। जिस कारण जान-माल का खतरा बना रहता है। चण्डी प्रसाद कुकरेती ने कहा कि न्याय पंचायत क्षेत्र सिमलना के अंतर्गत बोरगांव, खटपाणी, पोखरीधार, उलियाल, तिमलियाल, भटकिल, कैराकाटल, गंवाण, दऊ, हियूंदाऊं, राजूरगड् आदि गांवों में भी प्रधानमंत्री सौभाग्य योजना के अन्तर्गत विद्युतीकरण कार्य शुरू किया गया, लेकिन कार्यदायी संस्था निर्माण कार्य अधूरा छोड़कर भाग गई। उन्होंने कहा कि कई बार विद्युतीकरण कार्य पूरा कराने की मांग विद्युत विभाग व कार्यदायी संस्था से की गई, लेकिन स्थिति जस की तस बनी हुई है। उन्होंने उपजिलाधिकारी से विद्युत विभाग के अधिकारियों को विद्युतीकरण कार्य पूरा कराने के लिए निर्देशित करने की मांग की है।