नौ नवंबर को काला दिवस व दस को आंदोलन करेंगे आमसौड़वासी

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आपदा के बाद भी बचाव कार्य नहीं करने पर जताया रोष
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : वर्षा काल में आपदा की मार झेल चुके दुगड्डा ब्लॉक के आमसौड़ के ग्रामीणों ने नौ नवंबर उत्तराखंड राज्य गठन दिवस को काला दिवस के रूप मनाने का निर्णय लिया है। कहा कि दस नवंबर से वह सरकार के खिलाफ आंदोलन करेंगे। लगातार शिकायत के बाद भी आपदा से बचाव का तकनीकी उपचार नहीं होने से ग्रामीणों में रोष बना हुआ है।
समस्या के संबंध में बुधवार को क्षेत्र पंचायत सदस्य कुंदन सिंह व गणेश जुयाल के नेतृत्व में आमसौड़ के ग्रामीण ने उपजिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा। ग्रामीणों ने शासन-प्रशासन पर आमसौड़ क्षेत्र की उपेक्षा का आरोप लगाया। कहा कि बीते जुलाई माह में भारी वर्षा के कारण आमसौड़ क्षेत्र में पहाड़ टूटने से भारी मलबा घरों में घुस गया था, जिसके कारण लोगों को अपने घरों को छोड़ना पड़ा। अभी तक आठ परिवार गांव से मजबूरन पलायन कर चुके हैं। मौजूद लोग कठिनाइयों से अपना जीवन यापन कर रहे हैं। कहा कि क्षेत्र में सिंचाई का एक मात्र माध्यम हाईड्रम योजना भी विगत एक साल से ठप पड़ी हुई है, जिसकी मरम्मत तक नहीं हो पा रही है। किसानों को सिंचाई का पानी नहीं मिल पा रहा है। आपदा के चलते पेयजल लाइनें भी क्षतिग्रस्त हो गई थी। जिनकी समुचित मरम्मत तक नहीं हो पाई है। ग्रामीणों को प्राकृतिक स्रोतों पर निर्भर रहना पड़ रहा है। लेकिन, अब वर्षाकाल समाप्त होने के बाद एक बार फिर से पेयजल संकट गहरा सकता है। ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री से संबंधित विभागों को आमसौड़ के आपदाग्रस्त क्षेत्र की समस्याओं का निदान करवाने के लिए निर्देशित करने की मांग की है। मांग न माने पर राज्य स्थापना दिवस को काला दिवस व 10 नवंबर से आंदोलन करने की चेतावनी दी है। इस मौके पर रामचंद्र जुयाल, प्रवीन कुमार, हिमांशु जुयाल, राजेंद्र सिंह, सतीश कुमार, विनोद चंद्र, योगेंद्र प्रसाद मौजूद रहे।

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