31 मार्च के बाद विलंब शुल्क भुगतान के बाद भी नहीं होगी रिटर्न फाइल-सीए आशुतोष पांडेय
हरिद्वार। वित्तीय मामलों के सलाहकार सीए आशुतोष पांडेय ने कहा कि भारत सरकार की ओर से वित्तीय वर्ष 2020-21 के आयकर रिटर्न की आखिरी तारीख 31 मार्च 2022 निर्धारित है। इसके बाद विलंब शुल्क का भुगतान करके भी आयकर रिर्टन दाखिल नहीं नहीं किया जा सकता है। ऐसे आयकरदाताओं को आयकर विभाग बैंक में लेन देन और अन्य आधार पर कर निर्धारण के लिए नोटिस जारी कर सकता है और यदि टैक्स निकला तो ब्याज और अर्थदंड के साथ जमा करना पड़ेगा। सीए आशुतोष पांडेय ने जानकारी देते हुए बताया कि वित्तीय वर्ष 2020-21 जिसका कर निर्धारण वर्ष 2021-22 है, का आयकर रिटर्न विलंब शुल्क के साथ फाइल करने की अंतिम तारीख 31 मार्च 2022 है। ऐसे में जो करदाता किन्ही कारणों से अब तक आयकर रिटर्न नही फाइल कर पाए है, उनके लिए ये अंतिम मौका है। सीए आशुतोष पांडेय ने कहा कि 31 मार्च के बाद करदाता खुद अपनी रिटर्न फाइल नही कर पायेंगे। ऐसे में आयकर विभाग बैंक में लेन देन और अन्य आधार पर कर निर्धारण के लिए नोटिस जारी कर सकता है और यदि टैक्स निकला तो ब्याज और अर्थदंड के साथ जमा करना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि आयकर विभाग ने नोटिस जारी नही किया तो इस अवधि के लिए आयकरदाता कभी आयकर की रिटर्न फाइल नही कर पाएंगे। ऐसे आयकरदाताओं के लिए समस्या तब होगी। जब वह किसी बैंक लोन के लिए जाएंगे और बैंकर उनसे पिछले 3 वर्षों का आयकर रिटर्न मांगेंगे । सीए आशुतोष पांडेय ने कहा कि आयकर कानून की धारा-234 एफ के मुताबिक यदि किसी आयकरदाता की कुल आय 5 लाख रुपये या उससे कम है, तो 31 दिसंबर 2021 के बाद आयकर रिटर्न दाखिल करने पर उसे 1,000 रुपये और इससे अधिक आय होने पर 5,000 रुपये का जुर्माना देना होगा।