कांग्रेसियों ने दी विस परिसर भराड़ीसैंण में सीडीएस रावत को श्रद्घांजलि
-भराडीसैंण विधानसभा भवन का नाम बिपिन रावत के नाम पर रखने की मांग
चमोली। प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने शनिवार को विधान सभा परिसर भराड़ी सैंण में शोक सभा कर सीडीएस बिपिन रावत, उनकी पत्नी तथा दुर्घटना में मारे गए अन्य सैन्य कर्मियों के सम्मान में दो मिनट का मौन रखकर पुष्प अर्पित कर श्रद्घांजलि अर्पित की। शोक सभा के उपरांत कांग्रेस के प्रदेश चुनाव संयोजक एवं पूर्व सीएम हरीश रावत ने भराडीसैंण विधानसभा भवन का नाम बिपिन रावत के नाम पर रखे जाने की सरकार से मांग की। रावत ने कहा कि विधान सभा गेट का नाम ड़ एपी मैखुरी के नाम पर रखे जाने की मांग सरकार से कर चुके है। उन्होंने भराड़ीसैंण में आवसीय परिसर का नाम पूर्व थल सेनाध्यक्ष बीपी जोशी के नाम पर रखे जाने की भी प्रस्ताव किया। कहा कि भराड़ी सैंण में भविष्य में जो नगर बसाया जाएगा उनका नाम वीर चंद्र सिंह गढ़वाली के नाम का वह पहले की प्रस्ताव विधान सभा में पारित करवा चुके हैं। पूर्व सीएम ने कहा कि वे सीडीएस बिपिन रावत की तेरहवीं पर अन्य कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ उनके पौड़ी स्थित गांव सैंण जाकर उन्हें याद करेंगे। कहा कि उत्तराखंड़ शहीदों की भूमि रही है, चाहे आजादी का आंदोलन रहा हो या रज्य आंदोलन या 62, 65, 71 और कारगिल युद्घ या आतंकवाद से निपटने के लिए उत्तराखंड के वीरों ने अपनी शहादत दी। पूर्व सीएम ने कहा कि सीडीएस बिपिन रावत तीनों सेनाओं में बेहतर कोआर्डिनेशन कर रहे थे। उन्होंने योग्यता के बल पर यह मुकाम हासिल किया था। अब वे वीरता और शौर्य के प्रतीक बन गये हैं। एआईसीसी के पूर्व सचिव प्रकाश जोशी ने कहा कि भाजपा सरकार ने गैरसैंण को ग्रीष्म कालीन राजधानी बनाकर पलट कर भी नहीं देखा, जो प्रदेश के लोगों के साथ धोखा है। पीसीसी चीफ गणेश गोदियाल ने मौजूद सभी लोगों का धन्यवाद करते हुए कहा कि भाजपा गैरसैंण के नाम पर लोगों को गुमराह कर रही है। कहा कि पहले सरकार ने गैरसैंण में विधानसभा सत्र कराने की बात कही, फिर तैयारियां न होने का हवाला देकर तिथि को आगे बढ़ाया और फिर ठंड का बहाना बनाकर देहरादून में विधानसभा का सत्र किया, जो प्रदेशवासियों के साथ छल के अलावा कुछ भी नहीं है। इस मौके पर जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष वीरेन्द्र सिंह, पूर्व विधायक प्रो. जीतराम, पूर्व दर्जाधारी सुरेश बिष्ट, सुरेन्द्र बिष्ट, भुवन नौटियाल, मुकेश नेगी, हरिष्ण भट्ट, वीरेन्द्र मिंगवाल, मोहन भंडारी, कमल रावत, ईश्वरी मैखुरी, राजेन्द्र सगौई, ष्णा नेगी, सरोज शाह आदि कांग्रेसजन मौजूद रहे।