दिल्ली चिड़ियाघर में 15 दिन में 4 बाघ शावकों की मौत, दो की हालत नाज़ुक

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नई दिल्ली, दिल्ली चिड़ियाघर में पिछले 15 दिनों में चार बाघ शावकों की मौत हो गई है. 4 अगस्त को दिल्ली चिड़ियाघर में सात साल की बाघिन अदिति ने छह शावकों को जन्म दिया दिया था. इससे पहले 8 अगस्त की सुबह सबसे छोटे शावक की बाड़े के अंदर मौत हो गई थी.
एक अन्य शावक, जो कमज़ोर था और अपनी बाघिन का दूध नहीं पी पा रहा था, उसे 9 अगस्त की रात चिड़ियाघर के अस्पताल में भेजा गया था. इलाज के दौरान 10 अगस्त की रात उसकी मौत हो गई थी. अब चिड़ियाघर में दो बाघ शावक बचे है, जिनकी टीम द्वारा निगरानी की जा रही है. चार शावकों की मृत्यु के बाद अब बाघों की संख्या 15 हो गई है. इनमें 7 (3 नर और 4 मादा) सामान्य रंग के रॉयल बंगाल टाइगर-पैंथेरा टाइग्रिस और 6 सफ़ेद बाघ (2 नर और 4 मादा) और 2 बाघिन अदिति के बच्चे हैं.
दिल्ली चिड़ियाघर के निदेशक डॉ संजीत कुमार ने बताया कि चार अगस्त को जन्मे तीन बाघ शावक लंबे समय से मां बाघिन अदिति का दूध पी रहे थे. बीच में उन्होंने दूध पीना छोड़ दिया था, जिसके कारण 20 अगस्त की रात से 21 अगस्त की सुबह तक उन्हें चरणबद्ध तरीके से दूध छुड़ाया गया और हाथों से पालन-पोषण और उपचार के लिए अस्पताल लाया गया. इनमें से दो शावकों की शुक्रवार को उपचार के दौरान मौत हो गई और एक की हालत स्थिर है, लेकिन उसका गहन उपचार किया जा रहा है. शावकों के शवों को पोस्टमार्टम और विस्तृत जांच के लिए आईवीआरआई भेज दिया गया है.
निदेशक डॉ संजीत कुमार ने बताया कि जिन शावकों का 15 अगस्त की रात को दूध छुड़ाया गया था और जिन्हें हाथों से पालन-पोषण दिया गया था, उनकी अलग से देखभाल की जा रही है और वह स्वस्थ हैं और ठीक से दूध पी रहे हैं. इन शावकों की जान बचाने के लिए आईवीआरआई और अन्य विशेषज्ञों से सलाह ली जा रही है.
सात वर्षीय अदिति को 2021 में नागपुर के गोरेवाड़ा रेस्क्यू सेंटर से दिल्ली चिड़ियाघर लाया गया था. इससे पहले अदिति को दो अन्य रॉयल बंगाल बाघों, करण और हरि के साथ जोड़ा गया था, लेकिन दोनों प्रयास असफल रहे. विजय जूनियर, एक रॉयल बंगाल बाघ ने पहले भी अपनी प्रजनन क्षमता से चिड़ियाघर को गौरवान्वित किया है. उनकी पिछली संतानों में सफेद बाघ शावक अवनि और व्योम शामिल हैं, जिन्हें 2023 में जनता के लिए प्रदर्शित किया गया था. नर बाघ विजय है दिल्ली चिड़ियाघर का स्टार ब्रीडर विजय जूनियर की शांत प्रकृति और प्रजनन में सफलता ने उन्हें चिड़ियाघर का स्टार ब्रीडर बना दिया है.
हाल ही में सफेद बाघ का जन्म 2022 में हुआ था, जब बाघिन सीता ने तीन शावकों को जन्म दिया था, जिनमें से दो जीवित बचे थे. एक अधिकारी ने कहा, इतने बड़े शावकों में, 100 प्रतिशत जीवित रहना बेहद मुश्किल है. दिल्ली चिड़ियाघर में 1 नवंबर, 1959 को अपने उद्घाटन के बाद से ही बाघों को रखा गया है.

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