उत्साहपूर्वक मनाई गई देसंविवि और शांतिकुंज ने धन्वन्तरि जयंती

Spread the love

हरिद्वार)। देवसंस्ति विश्वविद्यालय स्थित फार्मेसी एवं शांतिकुंज के मुख्य सभागार में आयुर्वेद के प्रवर्तक भगवान धन्वन्तरि की जयंती आयुर्वेद के विकास में जुट जाने के आवाहन के साथ मनाई गई। फार्मेसी में हवन के साथ भगवान धन्वन्तरि की विशेष पूजा-अर्चना की गई। अपने संदेश में गायत्री परिवार प्रमुख ड़ प्रणव पण्ड्या ने कहा कि भगवान विष्णु का अंश ही धन्वन्तरि हैं। उन्हें आदिदेव के रूप में माना जाता है। भगवान धन्वन्तरि ने ही शरीर से संबंधित शास्त्र आयुर्वेद की रचना की है। वे देवताओं के वैद्य थे। संस्था की अधिष्ठात्री शैलदीदी ने कहा कि भगवान धन्वन्तरि जयंती यही प्रेरणा देती है कि परमात्मा ने सर्वश्रेष्ठ मनुष्य काया दी है, तो उसे स्वस्थ रखकर जीवन उद्देश्य की दिशा में निरंतर गतिशील रहना चाहिए। जयंती के अवसर पर ड़ ओपी शर्मा, ड. गायत्री शर्मा, ड़ मंजू चोपदार, ड़ शिवानंद साहू, ड़ वन्दना श्रीवास्तव, ड़ अलका मिश्रा आदि ने भगवान धन्वन्तरि से जुड़े विभिन्न पौराणिक कथानकों का जिक्र करते हुए प्रति के अनुसार जीवन जीने की सलाह दी। गायत्री परिवार प्रमुख ड़ प्रणव पण्ड्या का 74वां जन्मदिन शनिवार को रूपचतुर्दशी को चेतना दिवस के रूप में साद्गी पूर्ण ढंग से मनाया जाएगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *