डीएम ने ऋषिकेश-बदरीनाथ पैदल मार्ग का लिया जायजा
जयन्त प्रतिनिधि।
पौड़ी: डीएम ने ऋषिकेश- बदरीनाथ तीर्थाटन पैदल मार्ग सिमालो से नांद गांव तक 22 किलोमीटर की पैदल ट्रेकिंग की। डीएम ने पैदल मार्ग पर पड़ रहे विभिन्न गांवों में ग्रामीणों से वार्ता कर उनकी समस्याएं भी सुनीं। ग्रामीणों ने डीएम से सिंगटालि पुल को लेकर बात रखी। पैदल ट्रैकिंग में वन विभाग, पर्यटन विभाग, राजस्व विभाग के अफसर भी थे।
डीएम डा.आशीष चौहान ने ऋषिकेश से बदरीनाथ तीर्थाटन पैदल मार्ग पर ट्रेकिंग करते हुए बीच-बीच में पड़ने वाले गांवों के ग्रामीणों की समस्याएं सुनीं। डीएम को अपने बीच पाकर ग्रामीण काफी उत्साहित नजर आए। ग्रामीणों ने कहा कि पहले डीएम हैं जिन्होंने 22 किलोमीटर पैदल ट्रैकिंग करते हुए स्थानीय लोगों की समस्याएं सुनीं। इस दौरान डीएम ने सीमालू, महादेव चट्टी, किनसूर, घेड़, बिलोगी, घाँगुगढ़ सिंकटाली सहित विभिन्न गांवों में पहुंचे। उन्होंने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि जो समस्या बताई गई हैं , जल्द उन का निराकरण किया जाएगा। कहा कि ऋषिकेश- बदरीनाथ प्राचीन तीर्थाटन पैदल मार्ग का जीणोद्धार किया जाएगा। जिससे इन क्षेत्रों में पर्यटकों की आवाजाही पहले जैसे बनी रहेगी। पर्यटकों के आने से स्थानीय लोगों को भी रोजगार के अवसर प्रदान होंगे। कहा कि ऋषिकेश- बदरीनाथ पैदल मार्ग पर साइकिलिंग, कयाकिंग सहित अन्य गतिविधि भी शामिल की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस मार्ग पर पड़ने वाले पुराने डाक बंगले व धर्मशालाओं का भी जीणोद्धार किया जाएगा। जिससे पर्यटकों को ठहरने की सुविधा मिल सकेगी। डीएम रास्ते में पड़ने वाले गंगा के व्यू वनस्पति और वन्य जीव की जैव विविधता, प्राकृतिक झरनों व पानी के स्रोतों से अभिभूत हुए। उन्होंने तीर्थाटन व साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए व्यापक संभावनाएं तलाशी। उन्होंने ग्रामीणों से बातचीत करते हुए कहा की प्राचीन ऋषिकेश बर्दीनाथ तीर्थाटन पैदल मारकापुर रोड द्वार होने से इसके मार्ग पर पड़ने वाले गांव और ग्रामीणों की आर्थिकी मजबूत होगी। इस अवसर पर डीएफओ गढ़वाल स्वप्निल अनिरूद्ध, जिला पर्यटन विकास अधिकारी प्रकाश खत्री, सहायक अभियंता लोनिवि मुकेश सकलानी, ग्राम प्रधान किनसूर दीपचंद शाह आदि मौजूद रहे।