सड़कों के किनारे उगी झाड़ियां, जंगली जानवरों के खतरे का अंदेशा
जगमोहन डांगी।
पौड़ी : जनपद के राज्य राजमार्ग-32 पौड़ी-सतपुली-कांसखेत-बघाट के अलावा विकासखंड कल्जीखाल की ग्रामीण क्षेत्रों में लिंक मार्गों पर उगी झाड़ियां राहगीरों और स्कूली बच्चों के लिए परेशानी का सबक बन रही है। आलम यह है कि जंगली जानवरों के भय के कारण विगत तीन दिनों से डांगी गांव बच्चे स्कूल नहीं गये है। ऐसे में बच्चों का पठन-पाठन प्रभावित हो रहा है। क्षेत्र के समस्त विद्यालयों के अभिभावकों एवं परेशान लोगों ने जिला प्रशासन से समस्या से निजात दिलाने की मांग की है।
कई क्षेत्रों में सड़क मार्ग संकरा होने के कारण वाहन चालकों को दो-चार होना पड़ रहा है। इसके अलावा सबसे ज्यादा भय स्कूली बच्चों में बना हुआ है, क्योंकि कब किस झाड़ी में गुलदार घात लगाकर बैठा हो, लेकिन ग्रामीणों को इस समस्या से फिलहाल राहत मिलती नजर नहीं आ रही है। विकासखंड कल्जीखाल के कई ग्रामीण क्षेत्रों में मोटर मार्गों के किनारे उगी झाड़ियां इन दिनों लोगों के लिए परेशानी का सबब बनी हुई है। चिंता की बात यह है कि सड़कों के किनारे उगी झाड़ियों का यह हाल तब देखने को मिल रहा है जब आए दिन जंगली जानवरों और मानव के बीच चल रहा खूनी संघर्ष किसी से छिपा नहीं है। ऐसे में कई बार इन्हीं झाड़ियों में जंगली जानवरों के छिपने का अंदेशा बना रहता है। खासकर पलायन वाले क्षेत्रों में स्थिति और भी गंभीर हो जाती है। विकासखंड कल्जीखाल के ग्राम पंचायत थनूल व डांगी बनेख आदि मोटर मार्गों के किनारे कई स्थानों पर उगी झाड़ियां स्थानीय लोगों के लिए परेशानी खड़ी कर रही है। लेकिन इस ओर ध्यान न दिए जाने से दिन प्रतिदिन स्थिति गंभीर होती जा रही है। मनियारस्यूं वरिष्ठ नागरिक मंच के अध्यक्ष कर्नल (रिटायर) आनंद कुमार थपलियाल ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में मार्गों के किनारे उगी झाड़ियों से जंगली जानवरों के छिपने और उनके हमले का भय बना रहता है। उन्होंने कहा कि कई क्षेत्रों में स्कूली बच्चों को कई किलोमीटर की दूरी पैदल तय करनी पड़ती है। ऐसे में रोज उनके अभिभावक उन्हें रोज छोड़ने और लाने जाते है। जिससे उनकी दिनचर्या प्रभावित होती है।