सीएम की कुर्सी को लेकर सभी अटकलों पर जल्द लगेगा विराम
-मीडिया सुर्खिया बना रहा तो वो सिर्फ उनका काम है : सुबोध उनियाल
देहरादून। मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को अचानक दिल्ली बुलाया गया है। माना जा रहा है कि उनके उपचुनाव के मुद्दे पर राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मंत्रणा होनी है। सीएम तीरथ सिंह को अचानक दिल्ली बुलाए जाने से देहरादून से दिल्ली तक अटकलबाजों ने उनकी कुर्सी पर खतरे को लेकर हल्ला काटना शुरू कर दिया। लेकिन दिल्ली से बीजेपी के जानकार सूत्रों ने दावा किया है कि तमाम क़यास निराधार हैं और बहुत संभव है कि पार्टी नेतृत्व मुख्यमंत्री के विधानसभा उपचुनाव को लेकर सामने आ रही तकनीकी अड़चनों पर मंथन करे। बीजेपी के सूत्रों का कहना है कि करीब करीब ये तय है कि तीरथ सिंह रावत को गंगोत्री से उपचुनाव लड़ाया जाएगा लेकिन अभी कोरोना की दूसरी लहर के कहर के चलते आयोग ने उपचुनाव से हाथ खींचे हुए हैं। मामला पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के उपचुनाव का भी अटका हुआ है और यहाँ उतराखंड में मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को भी 10 सितंबर से पहले विधानसभा की सदस्यता लेनी होगी तभी उनकी कुर्सी बचेगी। बीजेपी के जानकार सूत्रों ने खुलासा किया है कि संभव है कि पार्टी मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत से कहे कि वे उपचुनाव कराने को लेकर चुनाव आयोग का दरवाजा खटखटाए जो कि ऐसे हालात में जब किसी राज्य के सामने संवैधानिक संकट खड़ा होता दिखे तो एक प्रक्रिया भी रही है। मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के लिए अगर उपचुनाव नहीं हो पाता है तो सरकार के सामने संवैधानिक संकट खड़ा हो जाएगा। हालाँकि जनप्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 151 (क) के तहत छह माह में उपचुनाव कराने की बाध्यता होती है लेकिन इसी की उपधारा में एक वर्ष से कम समय होने पर उपचुनाव न होने की बात भी कही गयी है। लेकिन आयोग को ये अख़्तियार है कि अगर सरकार पर संवैधानिक संकट बनता दिखे तो अपवादस्वरूप चुनाव आयोग मुख्यमंत्री के लिए उपचुनाव करा सकता है। ओडीशा के मुख्यमंत्री रहते गिरिधर गमांग के लिए 1999 में ऐसा हो चुका है।
सीएम के दिल्ली दौरे पर बोले सुबोध उनियाल:
आज मीडिया से बातचीत करते हुए शासकीय प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने कहा कि ये सब रूटीन प्रक्रिया जिसमे केंद्रीय मंत्रियों से मुलाकात ओर पार्टी हाई कमान से मिलना सामान्य बात है लेकिन अगर इसे मीडिया सुर्खिया बना रहा तो वो सिर्फ उनका काम है ।वही शासकीय प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने कहा कि मुख्यमंत्री के उप चुनाव को लेकर विपक्ष भले ही कई तरह के सवाल खड़े कर रहा हो, लेकिन इस पर जब भी हाई कमान निर्णय लेगा , उस निर्णय से सभी को अवगत करा दिया जायेगा और मुख्यमंत्री जिस भी सीट से चुनाव लड़ेंगे उस सीट से बम्पर वोटों के साथ जीत होगी ।