नई दिल्ली,कांग्रेस ने शुक्रवार को दावा किया कि भारतीय अर्थव्यवस्था मोदी सरकार के पांच बड़े झटकों से पूरी तरह से प्रभावित और बर्बाद हो चुकी है. पार्टी ने कहा कि सरकार और उसके समर्थक अर्थव्यवस्था की वास्तविक स्थिति को छुपा रहे हैं और जनता से सच्चाई छिपा रहे हैं.
कांग्रेस महासचिव और संचार प्रभारी जयराम रमेश ने कहा कि पिछले दशक में भारत की अर्थव्यवस्था को मोदी सरकार के पांच झटकों ने पूरी तरह तहस-नहस कर दिया है. उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि इन झटकों के लिए कोई और जिम्मेदार नहीं है. रमेश ने सबसे पहले नोटबंदी का जिक्र किया, जो देश की विकास गति को बाधित करने के साथ-साथ करोड़ों लोगों की रोज़गार और आजीविका को नुकसान पहुंचाने वाला था.
रमेश ने कहा कि जीएसटी एक ऐसा टैक्स है जो न तो अच्छा है और न ही सरल, जिससे देश के हजारों छोटे व्यवसाय प्रभावित हुए हैं. उन्होंने यह भी कहा कि केवल बड़ी कंपनियां ही जीएसटी के खर्च और अनुपालन को बर्दाश्त कर सकती हैं, जबकि छोटे और मध्यम उद्यम इस बोझ के कारण तबाह हो रहे हैं.
कांग्रेस नेता ने यह भी आरोप लगाया कि चीन से बढ़ते हुए आयात ने देश भर में लाखों एमएसएमई को बंद कर दिया है. गुजरात में स्टेनलेस स्टील उद्योग के करीब एक तिहाई एमएसएमई बंद हो चुके हैं. साथ ही, भारत के कई प्रमुख निर्यात क्षेत्रों की कच्ची सामग्री और औद्योगिक घटकों की निर्भरता चीन पर बनी हुई है, जिससे देश की अर्थव्यवस्था को गंभीर नुकसान हुआ है.
रमेश ने कहा कि निजी निवेश अब पहले जैसी तेजी नहीं दिखा रहा है. राजनीतिक दबाव और लगातार हो रहे छापों (रेड राज) ने उद्योग जगत का आत्मविश्वास तोड़ दिया है. इसका परिणाम यह हुआ कि भारतीय उद्योगपति दूसरे देशों की नागरिकता लेने लगे हैं.
कांग्रेस ने यह भी कहा कि पिछले दस वर्षों में अधिकांश भारतीयों की मजदूरी स्थिर रही है, खासकर ग्रामीण इलाकों में. घरेलू बचत घटती जा रही है, जबकि परिवारों का कर्ज बढ़ रहा है. निजी उपभोग में गिरावट के कारण आर्थिक विकास में रुकावट आ रही है, जबकि लक्जरी खर्च जारी है, जो बढ़ती आर्थिक असमानता को दर्शाता है.
राहुल गांधी ने भी इस मामले में मोदी सरकार पर कड़ा हमला बोला. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था, रक्षा और विदेश नीति को तबाह कर दिया है. गांधी ने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारतीय अर्थव्यवस्था को “मृत” कहकर एक सच्चाई को स्वीकार किया है, जिसे प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री को भी मान लेना चाहिए.
कांग्रेस का मानना है कि मोदी सरकार और उसके समर्थक एक काल्पनिक दुनिया में जी रहे हैं और वे अर्थव्यवस्था की वास्तविक स्थिति को जनता से छुपा रहे हैं. पार्टी ने सरकार से अर्थव्यवस्था की गंभीर स्थिति को स्वीकार करने और सुधारात्मक कदम उठाने की मांग की है.