ब्रासीलिया , ब्राजील के सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सख्त रुख अपनाते हुए पूर्व राष्ट्रपति जेयर बोल्सोनारो की हिरासत को बरकरार रखने का फैसला सुनाया है। अदालत ने यह कड़ा कदम तब उठाया जब बोल्सोनारो ने हाउस अरेस्ट के दौरान अपनी एड़ी पर लगे निगरानी उपकरण (एंकल मॉनिटर) को तोड़ने की कोशिश करने की बात स्वीकार कर ली। सुप्रीम कोर्ट ने उनकी इस हरकत को देश से फरार होने और अपनी 27 साल की सजा से बचने का एक सोचा-समझा प्रयास माना है।
70 वर्षीय बोल्सोनारो को शनिवार सुबह राजधानी ब्रासीलिया स्थित संघीय पुलिस मुख्यालय में हिरासत में लिया गया था। सुप्रीम कोर्ट की चार जजों की बेंच ने सर्वसम्मति से यह तय किया कि उन्हें एहतियातन हिरासत में ही रखा जाएगा। गिरफ्तारी वारंट जारी करने वाले जस्टिस अलेसांद्रे दे मोरायस ने साफ किया कि बोल्सोनारो के फरार होने का जोखिम बहुत अधिक है। गौरतलब है कि 2022 के चुनाव में लुइज इनासियो लूला डीसिल्वा से हारने के बाद सत्ता में बने रहने के लिए तख्तापलट की साजिश रचने के आरोप में बोल्सोनारो को 27 साल की कैद की सजा सुनाई गई है और वे अगस्त से घर में नजरबंद थे।
सुनवाई के दौरान बोल्सोनारो ने बचाव में अजीबोगरीब दलील पेश की। उन्होंने सहायक जज से कहा कि दवाइयों में बदलाव के कारण उन्हें घबराहट और भ्रम की स्थिति पैदा हो गई थी, जिससे उनकी मानसिक हालत बिगड़ गई और उन्होंने निगरानी उपकरण तोड़ने की कोशिश की। उनके वकीलों और डॉक्टरों ने भी यही दावा किया। हालांकि, जज मोरायस ने इस दलील को खारिज करते हुए अपने आदेश में लिखा कि बोल्सोनारो ने गंभीर अनुचित व्यवहार किया है और वे लगातार एहतियाती शर्तों का उल्लंघन कर अदालत का निरादर कर रहे हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, एड़ी पर लगे उपकरण से शनिवार दोपहर 12:08 बजे छेड़छाड़ की गई थी, जिसके कुछ घंटों बाद ही उनकी गिरफ्तारी का आदेश जारी कर दिया गया।
इस घटनाक्रम के बाद से ब्राजील में राजनीतिक माहौल गरमा गया है। गिरफ्तारी की खबर फैलते ही बोल्सोनारो के समर्थक और विरोधी देश के कई शहरों में सड़कों पर उतर आए, हालांकि सोमवार को बारिश के कारण प्रदर्शनकारियों की संख्या कम रही। संसद का सत्र फिर से शुरू होने के साथ ही आगामी सप्ताह तनावपूर्ण रहने के आसार हैं। इसी बीच, पूर्व राष्ट्रपति के बेटे और सीनेटर फ्लावियो बोल्सोनारो ने ऐलान किया है कि वह अपने पिता के लिए ‘आम माफी बिलÓ लाने की कोशिश जारी रखेंगे। फ्लावियो की नजरें 2026 में होने वाले चुनावों पर हैं, जहां वे खुद भी संभावित उम्मीदवार हो सकते हैं।