सरकारी विभाग सरकार को लगा रहे चूना, 1.13 करोड़ के पेयजल बिल बकाया
जयन्त प्रतिनिधि।
पौड़ी : सरकारी विभाग ही सरकार को चूना लगा रहे हैं। जहां पानी के बिलों को लेकर जल संस्थान विभाग को कुल 1 करोड़ 13 लाख 89 हजार 744 रूपये की वसूली करनी है। वित्तीय वर्ष के समाप्त होने की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। लेकिन जल संस्थान को अभी भी इतनी भारी भरकम राशि की वसूली करनी बाकी है। वहीं महकमे की मानें तो खंड कार्यालय पर 6.32 लाख, लोनिवि पर 4.46 लाख तो पुलिस लाइन पौड़ी पर 4 लाख का बकाया है।
मुख्यालय पौड़ी में इन दिनों ठंडा है बावजूद इसके जल संस्थान के माथे पर पसीना है। वित्तीय वर्ष समाप्त होने के अब कुछ ही दिन शेष हैं और विभाग के करोड़ों रूपये के पानी की बिलों की वसूली करनी बाकी है। हालांकि विभाग की ओर से सार्वजनिक रूप से डु़गडुगी पिटवाकर पानी के लंबित बिलों के भुगतान करने को कहा जा रहा है। साथ ही कई डोमेस्टिक और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों के कनेक्शन काटने शुरू कर दिये हैं। विभाग की मानें तो अकेले पौड़ी शहर में उन्हें कुल 1 करोड़ 13 लाख 89 हजार 744 रूपये की वसूली करनी है। जिसमें सबसे बड़े बाकायदार कोई और नहीं बल्कि सरकारी विभाग ही हैं। विभाग के अनुसार पौड़ी व खिर्सू खंड कार्यालयों को मिलाकर 6.32 लाख, लोनिवि 4.46 लाख, जिला अस्पताल पौड़ी 4.22 लाख, पुलिस लाइन 4 लाख, पौड़ी तहसील 1.30 लाख, बीएसएनएल 1.15 लाख, ग्राम्य आयुक्त 49 हजार समेत विभिन्न सरकारी विभागों पर 42 लाख 63 हजार, 695 रूपये का बकाया है। जबकि विभाग ने सुमगता के लिहाज से शहर के पी-1 और पी-2 श्रेणी में विभाजित किया है। पी-1 पर 33 लाख 72 हजार 944 और पी-2 पर 27 लाख 72 हजार 589 का बकाया है। जबकि पौड़ी के व्यापारिक प्रतिष्ठान भी सरकार को चुना लगाने में किसी से पीछे नहीं है। शहर के विभिन्न होटलों और अन्य व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर करीब 9 लाख 80 हजार 516 रूपये का लंबित बिल भुगतान हैं। जल संस्थान के सहायक अभियंता सोहन सिंह जेठूड़ी ने बताया कि लंबित बिलों के शीघ्र भुगतान को लेकर सभी उपभोक्ताओं को पूर्व में जानकारी दी जा चुकी है। इसके अलावा बिलों का भुगतान न करने के लेकर 30 कनेक्शन काट दिये गये हैं। बताया कि कई विभागों द्वारा बजट के अभाव में बिलों का भुगतान नहीं हो सका। हालांकि कई विभागों द्वारा बिल कोषागार में भी लंबित हैं। जिनकी सूची का इंतजार जल महकमे को है। बताया कि इस वित्तीय वर्ष की समाप्ति से पूर्व 3.83 करोड़ की वसूली करनी है।