बुखार न होने पर होम आईसोलेशन की मियाद अब दस दिन सीमित
नई दिल्ली, एजेंसी। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने होम आइसोलेशन में रहने वाले हल्के संक्रमण या बिना लक्षण वाले मरीजों के लिए संशोधित दिशानिर्देश जारी किए हैं। इसमें कहा गया है कि होम आइसोलेशन में 10 दिनों तक रहने और लगातार तीन दिनों तक बुखार न आने की स्थिति में मरीज होम आइसोलेशन से बाहर आ सकते हैं और उस समय टेस्टिंग की जरूरत नहीं है।दिशानिर्देशों के मुताबिक स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा मरीज की स्थिति को हल्का या बिना लक्षण वाला केस तय किया जाना चाहिए। ऐसे मामले में मरीज के सेल्फ आइसोलेशन की उनके घर पर व्यवस्था होनी चाहिए। ऐसे मरीज जिस कमरे में रहते हों उसका आक्सीजन सैचुरेशन भी 94 फीसद से ज्यादा होना चाहिए और उसमें वेंटिलेशन की भी बेहतर व्यवस्था होनी चाहिए। बिना लक्षण वाले मरीजों के संक्रमित होने की पुष्टि प्रयोगशालाओं में जांच के बाद किया जाना चाहिए।मरीज के लिए हर समय एक देखभाल करने वाला उपस्थित होना चाहिए और होम आइसोलेशन के दौरान केयरटेकर व अस्पताल के बीच संवाद जारी रहना चाहिए।
60 साल से अधिक की उम्र के लोगों और तनाव, डायबिटीज, हार्ट डिजीज, क्रोनिक लंग]लीवर]किडनी रोग इत्यादि केसेज में कोरोना संक्रमण होने की स्थिति में चिकित्साधिकारी उचित तरीके से मरीज के स्वास्थ्य की जांच करने के बाद ही होम आइसोलेशन की मंजूरी देंगे।