भारत-नेपाल अखंड मित्र राष्ट्र है: गिरी
हरिद्वार। श्री पंच दशनाम जूना अखाड़े के हिमालयन पीठाधीश्वर महामंडलेश्वर वीरेंद्रा नंद गिरि महाराज ने नेपाल में आयोजित दो दिवसीय राष्ट्र भावना दिवस में भारत का प्रतिनिधित्व किया। वीरेंद्रा नंद गिरी ने नेपाल-भारत मैत्री को अटूट बताते हुए कहा कि नेपाल और भारत भारतीय संस्ति, वैदिक संस्ति व पुरातन संत परंपरा के संवाहक हैं, जो पूरे विश्व में मानव कल्याण के लिए कार्य कर रहे हैं। जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर श्रीमहंत वीरेंद्रानंद गिरि ने बताया कि काठमांडू में आयोजित इस राष्ट्रीय भावना सम्मेलन में राज परिवार के सदस्यों के साथ-साथ काफी बड़ी संख्या में वैदिक विद्वानों मनीषियों और बुद्घिजीवियों ने भाग लिया। सभी ने नेपाल और भारत के बीच संबंधों को और अधिक प्रगाढ़ किए जाने व आपसी भाईचारे को बनाए जाने पर बल दिया। महामंडलेश्वर वीरेंद्रा नंद गिरि ने कहा कि भारत सभी धर्मों का सम्मान करता है। भारत और नेपाल अखंड मित्र राष्ट्र हैं। कोई कितना प्रयास कर ले वह इन दोनों देशों के बीच कभी भी वैमनस्य नहीं पैदा कर सकता है। भारत ने हमेशा नेपाल का सम्मान किया है। भारत एकमात्र ऐसा देश है जिसने अपनी सेना में केवल नेपाली लोगों के लिए गोरखा रेजीमेंट की स्थापना की है। इस राष्ट्रीय सम्मेलन में कोकराझार असम के सांसद व भारत सरकार गृह मंत्रालय में श्रम समिति के सदस्य नवी कुमार, जीएसटी कमिश्नर ड़ रमन विश्व अधिकार आयोग के अंतरराष्ट्रीय उपाध्यक्ष विष्णु प्रसाद वराल आदि ने भी भाग लिया।