युवाओं में नेतृत्व क्षमता विकसित करना जरूरी

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बागेश्वर। संसदीय कार्य मंत्रालय, भारत सरकार के नेशनल यूथ पार्लियामेंट स्कीम ( एनवाईपीएस) के तहत सुमित्रानंदन पंत राजकीय महाविद्यालय में तरुण सभा (युवा संसद) कार्यक्रम का आयोजन किया गया। शुभारंभ करते हुए मुख्य अतिथि जिपं अध्यक्ष शोभा आर्या ने कहा कि युवाओं में नेतृत्व क्षमता विकसित करने के लिए युवा संसद जरूरी है। विशिष्ट अतिथि नपं अध्यक्ष भावना वर्मा ने कहा कि युवा संसद लोकतंत्र की संसदीय प्रणाली को समझने के लिए आवश्यक है। प्राध्यापक डा. दिवाकर टम्टा ने संविधान एवं संसदीय व्यवस्था की मूल भावना पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम की नोडल अधिकारी डा. लता आर्या ने युवा संसद की रूपरेखा प्रस्तुत की। बैठक की शुरुआत राष्ट्रगान एवं नवनिर्वाचित युवा सांसदों की शपथ और प्रतिज्ञा से हुई। सांसदों ने सत्ता पक्ष से पेट्रोल-डीजल मूल्य वृद्धि, स्वच्छता अभियान, बेरोजगारी, पलायन, पर्वतीय क्षेत्रों की स्वास्थ्य स्थिति, जन-धन योजना, ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’, कृषि, नई शिक्षा नीति 2020, आपदा प्रबंधन, राष्ट्रीय सुरक्षा, सामाजिक न्याय, महिला सशक्तिकरण एवं पर्यावरण संरक्षण जैसे महत्वपूर्ण राष्ट्रीय एवं समसामयिक मुद्दों पर प्रश्न पूछे। ‘स्पेशल मेंशन आवर’ में छात्र-छात्राओं ने महिला शिक्षा, स्वास्थ्य, व्यक्तिगत स्वच्छता, साइबर सुरक्षा और स्वच्छता अभियान जैसे विषयों पर प्रभावी वक्तव्य दिए। भाषण प्रतियोगिता में क्रमशः वर्षा पाण्डेय, हिमानी पंत और विरेंद्र रावत को प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान मिला। युवा संसद मंचन में दीक्षा तिवारी ने लोकसभा अध्यक्ष, हिमानी पंत ने प्रधानमंत्री, ममता गोस्वामी ने संसदीय सचिव, दिव्या ने रक्षा मंत्री तथा हिमानी भट्ट ने वित्त मंत्री , श्वेता मिश्रा ने महिला कल्याण और बाल विकास मंत्री एवं आरती, नीलम, सीमा, अंजली राणा, हर्षिता पंत, विरेन्द्र सिंह रावत, मिनाक्षी आर्या,ने विपक्ष की भूमिका निभाई। अध्यक्षता करते हुए प्राचार्य प्रो. डीएन तिवारी ने कहा कि युवा ही नए भारत के निर्माण के सशक्त आधार हैं। इस दौरान डा.श्वेता पंत, डा. प्रियंका यादव, संध्या, छात्र संघ अध्यक्ष वीरेंद्र रावत, पवन नगरकोटी, शुभम चौधरी, गणेश नाथ, चंदन सिंह, गोपाल गिरी, गणेश दत्त जोशी आदि मौजूद थे।

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