लक्ष्मण ने काटी सूर्पणखा की नाक, सीता का हुआ हरण
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : चेलूसैंण में आयोजित रामलीला में मंगलवार रात सूर्पणखा की नाक कटना व सीता हरण कर मंचन किया गया। इस दौरान रामलीला देखने के लिए लोगों की भारी भीड़ उमड़ी हुई थी।
आयोजित रामलीला के छठवें दिन का शुभारंभ ब्लाक प्रमुख महेंद्र राणा ने किया। इसके उपरांत कलाकारों ने लक्ष्मण-सूर्पणखा प्रसंग का मंचन किया। रावण की बहन सूर्पणखा पंचवटी में जाकर जब श्रीराम चंद्र, सीता और लक्ष्मण के समक्ष शादी का प्रस्ताव रखती है, तो वह इसका विरोध करते हैं। जिसके कारण सूर्पणखा दुव्र्यवहार करती है और लक्ष्मण उसकी नाक काट देते हैं। सूर्पणखा दोनों भाइयों से बदला लेने के लिए अपने भाई खर व दूषण के साथ अन्य राक्षसों को भेज देती है। जहां श्री रामचंद्र अपने बाण चलाकर उन सब का वध कर देते हैं। इसके बाद मारीच व रावण पंचवटी के समीप पहुंचते हैं, जहां मारीच स्वर्ण मृग बन पंचवटी के आसपास घूमने लगता है। सीता के अनुरोध पर राम स्वर्ण मृग को लेने जंगल की ओर जाते हैं, जहां स्वर्ण मृग लक्ष्मण बचाओ की आवाज करता है। राम की आवाज सुन लक्ष्मण आश्रम के चारों ओर लक्ष्मण रेखा खीच जंगल की ओर चले जाते हैं। लक्ष्मण के जाते ही रावण साधु वेश धारण कर आश्रम में पहुंचता है और सीता को उठा ले जाता है। वापस लौटने पर पंचवटी में सीता को न देख राम व लक्ष्मण उसकी खोज में जुट जाते हैं। इस मौके पर अर्जुन नेगी, अर्जुन कंडारी, नरेश नैथानी, गौरव सुयाल, रवींद्र रावत, सुखदेव राणा, अजीत भंडारी, सूर सिंह आदि मौजूद रहे।