भागवत कथा का श्रवण ही मुक्ति का एकमात्र साधन
जयन्त प्रतिनिधि।
सतपुली : एकेश्वर ब्लॉक के ग्राम गिंवाली में चल रहे श्रीमद् भागवत कथा के दूसरे दिन कथावाचक आचार्य विजय प्रकाश बडोला ने कहा कि मानव जीवन के मुक्ति का एकमात्र साधन श्रीमद् भागवत कथा है। इसके श्रवण, मनन और जीवन में अनुशरण से ही मुक्ति मिलेगी।
मंगलवार को आचार्य विजय प्रकाश बडोला ने श्रीमद् भागवत कथा के बारे में विस्तार से बताया। कहा कि श्रीमद् भागवत कथा में भगवान श्री कृष्ण को ही सत्य माना गया है। श्रीमद् भागवत पुराण सभी पुराणों का सार है। उन्होंने बताया कि श्रीमद् भागवत कथा सुनने से मनुष्य को भक्ति के लिए ज्ञान की प्राप्ति होती है। उसी के आधार पर उसे मुक्ति मिलती है। कहा कि प्रत्येक प्राणी किसी न किसी तरह से दु:खी व परेशान है। कोई स्वास्थ्य से दु:खी है, कोई परिवार, कोई धन, तो कोई संतान को लेकर परेशान है। सभी परेशानियों से मुक्ति पाने के लिए ईश्वर की आराधना ही एकमात्र मार्ग है। इसलिए व्यक्ति को अपने जीवन का कुछ समय हरिभजन में लगाना चाहिए। उन्होंने कहा कि भागवत कथा वह अमृत है, जिसके पान से भय, भूख, रोग व संताप सब कुछ स्वत: ही नष्ट हो जाता है। उन्होंने कहा कि व्यक्ति को मन, बुद्धि, चित एकाग्र कर अपने आप को ईश्वर के चरणों में समर्पित करते हुए भागवत कथा को ध्यान पूर्वक सुनना चाहिए। इस मौके पर पंडित राकेश हिन्दवान, भास्करानंद पंत, प्रभुदयाल सहित स्थानीय ग्रामीण उपस्थित थे।