पूर्ववर्ती सरकार की लापरवाही का खमियाजा भुगत रहे बांध प्रभावित: डॉ.धन सिंह

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नई टिहरी। टिहरी विधायक ने कहा कि बीते दिनों दिल्ली में केंद्रीय ऊर्जा मंत्री के नेतृत्व में हुई उच्चस्तरीय बैठक में बांध विस्थपितों और प्रभावितों के हक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं। कहा जिन मुद्दों का समाधान वर्ष 2003 में हो जाना चाहिए था, वह अभी तक लटके हुए हैं, यह पूर्ववर्ती सरकार की लापरवाही का नतीजा है, जिसका खमियाजा बांध प्रभावितों को भुगतने पड़ रहा है। रविवार को पार्टी दफ्तर में पत्रकार वार्ता में टिहरी विधायक डॉ.धन सिंह नेगी ने कहा कि बीते 22 जनवरी को पहली बार दिल्ली में केंद्रीय ऊर्जा मंत्री के नेतृत्व में टिहरी बांध विस्थापितों और प्रभावितों की लंबित समस्याओं को लेकर बैठक हुई। बैठक में प्रदेश के सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज सहित टिहरी विधायक गण और संबंधित विभाग के उच्च अधिकारी मौजूद थे। बैठक में बांध प्रभावित 415 परिवारों के विस्थापन, टीएचडीसी द्वारा अधिग्रहण की गई भूमि को प्रदेश सरकार को वापस लौटाने, नई टिहरी में बांध विस्थापितों को निशुल्क बिजली, पानी और सीवर सीट शुल्क देने, टीएचडीसी कर्मचारियों की पदोन्नति और ट्रांसफर नीति बनाने, बांध प्रभावितों के लिए भूमि तथा नगद प्रतिकर देने पर बैठक में चर्चा हुई। साथ ही टीएचडीसी द्वारा कोर्ट में दायर याचिका को वापस लेने, ग्रेवांस सेल में लबिंत मुद्दों के निस्तारण के बाद ही टीएचडीसी को बांध की झील आरएल 830 मीटर जल भराव की अनुमति देने सहित अन्य मुद्दे बैठक में रखे गए। कहा पुर्नवास विभाग को दो माह के अंदर लंबित मुद्दों की रिपोर्ट भारत सरकार भेजे जाने के निर्देश दिए गए हैं। मौके पर जिलाध्यक्ष विनोद रतूड़ी, ब्लॉक प्रमुख सुनीता देवी, बेबी असवाल, अबरार अहमद, विक्रम कठैत, गोविन्द रावत, मंजू चंद, गीता नेगी, मीना सेमवाल, भूपेंद्र चौहान, रवि सेमवाल, दिनेश भट्ट, पंकज बरवाण, विनोद बिष्ट, योगेंद्र नेगी आदि मौजूद थे।

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