रात के समय शवदाह करने से लोगों में आक्रोश
पिथौरागढ़। रामगंगा नदी घाट पर रात के समय शवदाह करने से लोगों में आक्रोश है। लोगों का कहना है कि सूर्यास्त के बाद शवदाह करना उचित नहीं है। लॉगडाउन के सरकारी नियमों की भी लोग धज्जियां उड़ा रहे हैं। अंतिम संस्कार में 20 के सापेक्ष 70 से अधिक लोग पहुंच रहे हैं। रामगंगा नदी घाट पर बीते शुक्रवार रात साढ़े दस बजे शवदाह किया जा रहा था। इससे लोगों में आक्रोश है। मंदिर के पुजारी गोविंद भट्ट ने कहा सूर्यास्त होने के बाद शवदाह करना अच्छा नहीं माना जाता है। कहा किसी भी परिस्थिति में शव का रात में शवदाह नहीं किया जाता। कहा इस प्रकार के कृत्य अनैतिक है। वहीं व्यापार संघ ने भी इस पर कड़ी आपत्ति जताई है। व्यापार संघ अध्यक्ष बलवंत सत्याल ने कहा कि रात के समय शवदाह करना गलत है। कहा अंतिम संस्कार में शामिल लोग अपने आप को भी खतरे में डाल रहे हैं। रात के समय नदी का जलस्तर बढ़ेगा तो लोगों के लिए मुसीबत खड़ी हो सकती है। भानू पाठक व मनोज गोस्वामी ने कहा इस पर रोक लगनी चाहिए। प्रशासन ने 20 से कम लोगों को अंतिम संस्कार में शामिल करने की इजाजत दी है, लेकिन यहां 70 से अधिक लोग पहुंच रहे हैं। कहा पुलिस भी इस ओर ध्यान नहीं दे रही है।