रामपुर में हाथियों ने बर्बाद किया आम का बगीचा
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार। सनेह क्षेत्र में हाथियों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा है। आये दिन हाथी आवासीय बस्तियों, खतों व बगीचों में घुसकर नुकसान पहुंचा रहे है। हाथियों ने रामपुर के एक बगीचे में घुसकर आम के पेड़ों को तोड़ दिया। जिससे काश्तकार को भारी नुकसान हुआ है। काश्तकारों का आरोप है कि कई बार शिकायत करने के बावजूद भी समस्या का निराकरण नहीं हो रहा है। विभाग की लापरवाही का खामियाजा उन्हें भुगतना पड़ रहा है।
लैंसडौन वन प्रभाग के लालपानी कम्पार्टमेंट से सटे रामपुर कुम्भीचौड क्षेत्र में जंगली हाथियों का आतंक थम नहीं रहा है। रामपुर निवासी हरीश नेगी ने बताया कि गत शनिवार की रात को हाथियों का झुंड उनके आम के बगीचे में घुस गया। उन्होंने अपने पड़ोसियों के साथ शोर मचाकर हाथी को जंगल की ओर भगाने का प्रयास किया, लेकिन हाथी टस से मस नहीं हुआ। हाथी ने आम के कई पेड़ तोड़ दिये है। उन्होंने कहा कि वन विभाग की ओर से लाखों रूपये की धनराशि से बनाई गई सुरक्षा दीवार देखरेख के अभाव में अधिंकाश जगहों पर टूट गई है। जिस कारण हाथी आसानी से खेतों में घुसकर फसल और पेड़ों को नुकसान पहुंचा रहे है। टूटी सुरक्षा दीवार से न केवल हाथियों का रास्ता बना है, बल्कि जंगली सुअर, जडाऊ सहित अन्य जंगली जानवर भी किसानों की नींद उड़ाए हुए हैं। आजकल धान की फसल पक कर तैयार हो चुकी है। पकी धान की फसल की खुशबू हाथियों और सअरों के लिए वरदान साबित हो रही है। हाथियों और सुअरों के झुंड जब खेतों में घुसते हैं तो कई बीघा फसल को तहस-नहस कर डालते हैं। जंगली हाथियों का कहर यही नहीं थमता क्षेत्र में आम, आंवलों के बगीचों को भी बर्बाद करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहे है। किसान हरीश नेगी ने बताया कि लैंसडौन वन प्रभाग के डीएफओ से इसकी शिकायत की गई। डीएफओ ने हाथी सुरक्षा दीवार का जीर्णोद्धार शीघ्र कराने का आश्वासन दिया है। शेष सुरक्षा कार्य का इस्टीमेट शासन को भेजा जा रहा है।