देहरादून। जाने-माने लोक गायक जगदीश बकरोला का दिल्ली के आरएमएल अस्पताल में गुरुवार को निधन हो गया। वह कुछ समय से बीमार चल रहे थे। बकरोला अस्सी-नब्बे के दशक में ऑडियो कैसेट्स के दौर में काफी सक्रिय थे। उनके निधन पर वरिष्ठ लोकगायक नरेन्द्र सिंह नेगी, पद्मश्री प्रीतम भरतवाण, गणेश वीरान समेत अनेक संस्कृतिकर्मियों ने शोक प्रकट किया है। 65 वर्षीय जगदीश बकरोला पौड़ी जिले के कल्जीखाल ब्लाक की असवालस्यूं पट्टी के बकरोली गांव के निवासी थे और बचपन से नेत्रहीन थे। वह दिल्ली के बुराड़ी में अपने दो बेटों और पत्नी संग रहते थे। उन्होंने शास्त्रीय संगीत की शिक्षा दिल्ली के अंधविद्यालय से ली थी। इसके बाद वह लगातार राज्य के लोकसंगीत-कला संस्कृति के लिए काम कर रहे थे। उन्होंने सैकड़ों की संख्या में गढ़वाली गीत गाए। उनकी अनेकों कैसेट्स बाजार में निकली। सैकड़ों कलाकारों के साथ उत्तराखंड और दूसरे प्रदेशों में अनगिनत स्टेज शो किए। अपने दौर की जानी लोकगायिका रेखा धस्माना उनियाल, सुनीता वेलवाल, चंद्रकान्ता सुन्द्ररियाल, संतोष शर्मा बडोनी आदि ने उनके साथ गाने रिकार्ड किए और स्टेज साझा किया।