सेवा ही सम्मान है, अनुशासन ही पहचान है और राष्ट्रहित ही सर्वोच्च प्राथमिकता : सीएम योगी

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लखनऊ , उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने होमगार्ड के जवानों को सेवा का मूलमंत्र देते हुए कहा कि सेवा ही सम्मान है, अनुशासन ही पहचान है तथा राष्ट्रहित ही हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। शनिवार को उत्तर प्रदेश होमगार्ड्स के 63वें स्थापना दिवस समारोह में सम्मिलित होकर सीएम योगी ने भव्य रैतिक परेड की सलामी ली और जवानों की कर्तव्यनिष्ठा की सराहना की। उन्होंने कहा कि आपका अनुशासन, निष्ठा व त्याग हमारे समाज को सुरक्षित व संरक्षित बनाने में बड़ी भूमिका का निर्वहन करता है। आप केवल एक बल के स्वयंसेवक नहीं, बल्कि समाज के विश्वास के साथ ही प्रदेश सरकार की शक्ति हैं। इस अवसर पर उन्होंने होमगार्ड्स के विभिन्न मेडल प्राप्त अधिकारियों व कर्मचारियों को सम्मानित भी किया। उन्होंने कहा कि सरकार ने ऐसी व्यवस्था की है कि अब हर थाने में होमगार्ड जवानों के लिए रूम आरक्षित होगा, जिसमें वे यूनिफॉर्म व आवश्यक कागजात को सुरक्षित रख सकेंगे। वहीं, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विभाग से कहा कि होमगार्ड के जवान को आयुष्मान भारत की तर्ज पर कैशलेस स्वास्थ्य की सुविधा उपलब्ध हो, इसके लिए प्रस्ताव बनाकर भेजें, सरकार इसे आगे बढ़ाएगी।
उत्तर प्रदेश होमगार्ड स्थापना दिवस के अवसर पर सभी जवानों व अधिकारियों को बधाई व शुभकामनाएं देते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि होमगार्ड स्थापना दिवस केवल एक आयोजन नहीं, बल्कि अनुशासन, समर्पण व सेवा भावना का प्रतीक है। आज यहां होमगार्ड संगठन के ऊर्जावान जवानों द्वारा अत्यंत उच्च कोटि की रैतिक परेड का प्रदर्शन किया गया है, जो होमगार्ड विभाग की क्षमता, उच्च अनुशासन और अनवरत परिश्रम को दर्शाता है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तारीफ करते हुए कहा कि कार्यक्रम में सम्मिलित सभी होमगार्ड जवान, जिनकी वेशभूषा, सेरिमोनियल ड्रेस, परिसर की साज-सज्जा और हरियाली आकर्षक व सम्मोहित करने वाली है, जो किसी भी संगठन व फोर्स के लिए प्रेरणादायी क्षण होना चाहिए।
सीएम योगी ने कहा कि आज भारत के संविधान के शिल्पी बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर का पावन महापरिनिर्वाण दिवस है। यह दिन प्रेरणा दिवस है। बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर ने प्रत्येक भारतीय को एक ही प्रेरणा दी कि हमारी पहचान परिवार, जाति, क्षेत्र व भाषा से नहीं, बल्कि जन्म से लेकर अंतिम यात्रा तक केवल भारतीयता की होनी चाहिए। इसी भारतीयता की पहचान का पालन हमें करना है। प्रधानमंत्री मोदी ने आजादी के अमृत महोत्सव वर्ष में हर भारतवासी से कहा था कि यूनिफॉर्म धारी प्रत्येक व्यक्ति के प्रति सम्मान हम सबके मन में होना चाहिए। यह तभी होगा जब इस प्रकार का प्रदर्शन व परिसर बनाने के लिए हम प्रतिबद्ध दिखाई देंगे। इससे हर भारतीय के मन में श्रद्धा व सम्मान का भाव झलकेगा।

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