राष्ट्रीय राजमार्ग व मुख्य मार्गों पर खड़ी मौत, सिस्टम नहीं दे रहा ध्यान
एनएच व अन्य मार्गों पर नियमों के विरुद्ध लगाए गए हैं विद्युत ट्रांसफार्मर
शिकायत के बाद भी ट्रांसफार्मर शिफ्ट करने की सुध नहीं कर रहा ऊर्जा निगम
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार: गढ़वाल के प्रवेश द्वार कोटद्वार में राष्ट्रीय राजमार्ग के साथ ही अन्य मुख्यमार्गों पर खड़े ट्रांसफार्मर व विद्युत पोल हादसों को न्यौता दे रहे हैं। शिकायत के बाद भी ऊर्जा निगम विद्युत पोल व ट्रांसफार्मर को शिफ्ट करने की सुध नहीं ले रहा। जर्जर हालत में खड़े कई विद्युत पोल व ट्रांसफर्मार कब लोगों की जिंदगी पर भारी पड़ जाएं कुछ कहा नहीं जा सकता। ऐसे में सबसे अधिक खतरा बरसात के दौरान बना रहता है।
पदमपुर चौराहे से सिम्मलचौड़ को जाने वाले मार्ग पर एक दर्जन से अधिक विद्युत पोल व ट्रांसफर्मार खड़े हैं। इनमे से अधिकांश विद्युत पोल नीचे से खोखले भी हो चुके हैं। ऐसे में यह कब धराशाई हो जाएं कुछ कहा नहीं जा सकता। वहीं, राजकीय बेस चिकित्सालय से करीब आधे किलोमीटर आगे बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर एसबीआइ बैंक के पास भी ऊर्जा निगम ने नियम विरूद्ध ट्रांसफार्मर लगाया हुआ है। नियमानुसार, राष्ट्रीय राजमार्ग से 20 फीट की दूरी पर इसे लगाया जाना था। लेकिन, ऊर्जा निगम ने लापरवाही दिखाते हुए इसे राष्ट्रीय राजमार्ग के किनारे ही खड़ा कर दिया था। यही नहीं इसके ठीक सामने एक पेट्रोल पंप भी है। सरकारी सिस्टम की यह लापरवाही कुंभीचौड़ से सनेह को जाने वाले तिराहे पर भी देखने को मिल रही है। जहां तिराहे के बीच में ही ऊर्जा निगम का ट्रांसफार्मर लगा हुआ है। ट्रांसफर्मर के आसपास सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध भी नहीं किए गए हैं। गाड़ीघाट तिराहे के समीप सड़क किनारे खड़े ट्रांसफर्मार की यही स्थिति बनी हुई है। उक्त ट्रांसफार्मर की चपेट में आने से पूर्व में कई गोवंशों की मौत भी हो चुकी है। बावजूद सरकारी सिस्टम लापरवाह बना हुआ है।
रात के अंधेरे में होती है समस्या
राष्ट्रीय राजमार्ग व अन्य सड़कों के किनारे लगए ट्रांसफार्मर रात के अंधेरे में दिखाई नहीं देते। ऐसे में हर समय दुर्घटनाओं का अंदेशा बना रहता है। पदमपुर निवासी हरेंद्र सिंह, अर्चना देवी ने बताया कि ट्रांसफार्मर को हटवाने के लिए कई बार ऊर्जा निगम को शिकायत कर चुके हैं। लेकिन, आज तक कोई भी अधिकारी या कर्मचारी मौके पर झांकने तक नहीं पहुंचा।