जहां हाथियों का झुंड पीता है पानी, वहां नहाने को पहुंच रहे पर्यटक
पूर्व में हुई घटनाओं के बाद भी अपनी जिंदगी दांव पर लगा रहे पर्यटक
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : लालपुल व सिद्धबली मंदिर के मध्य खोह नदी में जिस स्थान पर हाथियों का झुंड पानी पीने पहुंचता है वहां पर्यटक बेखौफ होकर डुबकी लगा रहे हैं। ऐसे में उनकी यह लापरवाही कभी भी उनके जीवन पर भारी पड़ सकती है। चौंकाने वाली बात तो यह है कि सरकारी सिस्टम भी पर्यटकों की इस लापरवाही को देख अनदेखा कर रहा है। जबकि, पूर्व में हाथी नदी में आने वाले कई पर्यटकों को भी दौड़ा चुका है।
लैंसडौन वन प्रभाग के जंगलों से गुजर रही खोह नदी वन्य जीवों के लिए जीवनदायिनी है। ऐसे में अब जहां भीषण गर्मी से जंगलों में बने प्राकृतिक स्रोत सूख चुके हैं तो जंगली जानवर भी प्यास बुझाने के लिए खोह नदी का रुख कर रहे हैं। लालपुल से सिद्धबली के मध्य दो से तीन स्थानों में हाथियों का झुंड पानी पीने पहुंचता है। ऐसे में कई व्यक्ति जिंदगी को दांव पर लगा गर्मी से निजात के लिए इन स्थानों पर डुबकी लगा रहे हैं। कई ऐसे स्थान भी हैं जहां हाथियों का झुंड सीधे झाड़ियों से निकलकर नदी में पहुंच जाता है। इस स्थिति में व्यक्तियों की लापरवाही कब उनके जीवन पर भारी पड़ जाएं कुछ कहा नहीं जा सकता।
राष्ट्रीय राजमार्ग पर भी बनी धमक
गर्मी के दौरान नदी में आने के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग पार कर रहे हाथियों से आवाजाही करने वालों को भी खतरा बना हुआ है। ऐसे में वाहन चालकों को कोटद्वार से दुगड्डा के मध्य बड़ी सावधानी से राष्ट्रीय राजमार्ग पर सफर करना होगा। सबसे अधिक खतरा दोपहिया वाहन चालकों को बना रहता है। पूर्व में हाथी कई वाहन चालकों को दौड़ा भी चुके हैं। हाथी के साथ छेड़छाड़ करना भारी पड़ सकता है।