रुद्रप्रयाग : सोनप्रयाग-गौरीकुंड के बीच बीते दिन हुई वाहन दुर्घटना में परिवहन विभाग ने सख्त रुख अपना लिया है। परिवहन विभाग के पौड़ी संभाग ने रुद्रप्रयाग परिवहन विभाग को उक्त वाहन का परमिट और चालक का लाइसेंस पौड़ी तलब किया है जहां से इसकी जांच के बाद निरस्तीकरण की कार्यवाही की जा सकती है। परिवहन विभाग के अनुसार 31 जुलाई को लिंचौली में आई आपदा के बाद सोनप्रयाग से गौरीकुंड के बीच कई स्थानों पर हाईवे ध्वस्त हो गया था। ऐसी स्थिति में वाहनों का संचालन बंद था। जबकि पूर्व में हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया था कि जब तक परिवहन विभाग, पुलिस और लोनिवि एनएच द्वारा संयुक्त निरीक्षण कर रिपोर्ट नहीं दी जाती, तब तक इस मार्ग पर वाहनों का संचालन बंद रहेगा। किंतु इस बीच मुनकटिया से गौरीकुंड के बीच बिना अनुमति के वाहनों का संचालन होने लगा। बीते दिन हुई घटना को परिवहन विभाग ने गंभीरता से लिया है। एआरटीओ संगीता भट्ट ने बताया कि यात्रा के प्रथम चरण के दौरान शटल सेवा का संचालन परिवहन विभाग द्वारा किया जा रहा था, किंतु मानसून के चलते यह व्यवस्था बंद हो जाती है। इसके बाद दोबारा मानसून के बाद पौडी संभाग के निर्देशों पर शटल सेवा शुरू की जानी था किंतु इस बीच हाईवे बंद होने से यह व्यवस्था शुरू नहीं हो सकी। उन्होंने बताया कि 31 अगस्त को सोनप्रयाग से गौरीकुंड के बीच कुछ हिस्सा खोला गया जिसके बाद कुछ चालकों द्वारा यहां आवाजाही शुरू की गई। जबकि पूर्व में ही वाहन चालक और यूनियन को सूचित किया गया था कि बिना अनुमति और संयुक्त निरीक्षण के वाहनों की आवाजाही न कराई जाए। यदि ऐसा किया गया तो वह जिम्मेदारी संबंधित वाहन चालक और यूनियन की होगी। एआरटीओ ने बताया कि निर्देशों की अवहेलना करने पर संबंधित वाहन का परमिट और लाइसेंस पौड़ी संभाग तलब किया गया है। पौडी संभाग द्वारा जांच कराकर दोनों दस्तावेजों के निरस्तीकरण की कार्यवाही की जा सकती है। उन्होंने बताया कि वाहन की क्षमता भी चालक सहित 9 की है, जबकि वाहन में इससे अधिक यात्री सवार थे। ओवरलोडिंग को लेकर भी जांच की जाएगी। (एजेंसी)