रोजगार मेले को लेकर कांग्रेस ने चला ‘ईएमआई’ वाला दांव! जानें इससे कितनी सधेगी सियासत
नई दिल्ली, एजेंसी। जैसे-जैसे लोकसभा के चुनाव नजदीक आते जा रहे हैं कांग्रेस भी सियासत के मैदान में नए-नए राजनीतिक दांव से अपनी जमीन मजबूत करने की कोशिश करती जा रही है। पार्टी की कोशिश यही है कि आने वाले चुनाव में जिन राज्यों में उनकी सरकार नहीं है वहां पर आज के जनाधार के आधार पर उनकी पार्टी की हैसियत का आंकलन न किया जाए। इसके लिए पार्टी के नेता लगातार बैठकें भी कर रहे हैं।
सोमवार को ऐसे ही काम करने के लिए पार्टी ने बैठक कर रणनीति बनाई। इसी कड़ी में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने प्रधानमंत्री पर नौकरियों को ईएमआई जैसे देने का आरोप लगाया। फिलहाल अब पार्टी देश के अलग-अलग हिस्सों में कांग्रेस शासित राज्यों में दी जाने वाली नौकरियों का पूरा हिसाब किताब जनता के सामने रखने का प्लान बना चुकी है।
कांग्रेस ने अपनी इसी रणनीति के तहत भारतीय जनता पार्टी और पीएम नरेंद्र मोदी को दो करोड़ दी जाने वाली नौकरियों पर घेरा। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वादा तो दो करोड़ नौकरियों का किया था, लेकिन युवाओं को वह ईएमआई के रूप में कुछ हजार भर्ती पत्र बांट रहे हैं। खरगे ने कहा कि प्रधानमंत्री की ओर से दी जाने वाली यह नौकरियां ‘एम्प्टी मैनिपुलेटिव इंस्टॉलमेंट’ यानी ईएमआई ही हैं।
इसी तरह पार्टी के महासचिव जयराम रमेश ने भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्र सरकार पर हमला बोला। वह कहते हैं कि प्रधानमंत्री ने हर साल दो करोड़ नौकरी देने का वादा किया था लेकिन वह फेल हो गए। उन्होंने रोजगार मेले को पहले से स्वीकृत पदों पर मिलने वाली नौकरियों के साथ-साथ प्रमोशन के नियुक्ति पत्र बांटे जाने का मेला करार दिया।
कांग्रेस पार्टी से जुड़े नेताओं का कहना है कि सोमवार को आयोजित एक बैठक में विधानसभा से लेकर लोकसभा के चुनावों के लिहाज से सियासी रणनीति पर चर्चा की गई। इस बैठक में शामिल एक वरिष्ठ नेता बताते हैं कि बैठक में तय यही हुआ है कि आने वाले दिनों में भारतीय जनता पार्टी की ओर से किए जाने वाले झूठे वायदों को देश के प्रत्येक राज्य में एक्सपोज किया जाए। इसके लिए पार्टी ने कई मुद्दों को आगे रखकर अपनी योजना बनाई है। इन योजनाओं में कांग्रेस में रोजगार मेलों में दी जाने वाली नौकरियों को ईएमआई वाले दांव के तौर पर जनता के सामने रखने की बड़ी प्लानिंग बनाई है।
पार्टी से जुड़े नेता बताते हैं कि तय यही हुआ है कि जिस तरीके से कांग्रेस शासित राज्य में लोगों को समयबद्ध तरीके से नौकरियों को दिए जाने का प्रारूप बना है या पुरानी सरकारों में नौकरियां दी जाती थी, उसका उदाहरण के साथ जनता के सामने पूरा हिसाब किताब रखा जाए। कांग्रेस जल्द ही देश के सभी राज्यों में अपने ऐसे ही उदाहरण के साथ जनता के सामने पहुंचने की बड़ी रणनीति बना रही है। इसकी शुरुआत वैसे तो देश के सभी राज्यों से होने जा रही है लेकिन शुरुआती दौर में पूरा फोकस चुनावी राज्यों पर रहने वाला है।