भारत कर रहा है कोरोना वैक्सीन के लिए कोल्ड चेन बनाने की तैयारी, लक्जमबर्ग की कंपनी से होगी बातचीत
नई दिल्ली। कोरोना महामारी से निजात दिलाने के लिए इसकी वैक्सीन पर पूरी दुनिया के वैज्ञानिक रिसर्च कर रहे हैं। वहीं इसके रख-रखाव को लेकर भी कवायद शुरू हो गई है। इसी कड़ी में भारत में कोरोना वैक्सीन के लिए कोल्ड चेन तैयार करने को लेकर लक्जमबर्ग स्थित बी मेडिकल सिस्टम के मुख्यालय के दो शीर्ष अधिकारी नई दिल्ली आने वाले हैं, जो कि सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों से इस संबंध में बातचीत करेंगे।
यह कंपनी अपने भारतीय साझेदार के साथ मिलकर देश में एक प्लांट बैठाने की योजना पर काम कर रहा है, जिसका काम स्पेशल रेफ्रिजेरेटेड वैक्सीन ट्रांसपोर्टेशन बक्स और फ्रीजर्स की सप्लाई करना है। बी मेडिकल सिस्टम गुजरात में एक प्लांट बनाना चाहती है, लेकिन अभी इसमें वक्त लगेगा। ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि कंपनी वैक्सीन को रखने वाले खास बक्से को आयात करेगी, जिसके जरिए वैक्सीन का उत्पादन शुरू होते ही उसे दूसरी जगह सही से भेजा भी जा सके।
देश भर के लोगों तक कोरोन वायरस वैक्सीन पहुंचाने के संचालन व्यवस्था में कोल्ड चेन को सबसे बड़ी चुनौतियों में गिना जाता है। दरअसल बी मेडिकल सिस्टम के पास ऐसी तकनीक है, जिसमें माइनस 80 डिग्री सेल्सियस तक वैक्सीन को रखा जा सकता है।
ब्रिटेन ने फाइजर-बायोएनटेक की कोरोना वैक्सीन के आपातकालीन इस्तेमाल की अस्थायी मंजूरी दे दी है और यह वैक्सीन अगले सप्ताह से उपलब्ध हो जाएगी। इस वैक्सीन को माइनस 70 डिग्री सेल्सियम या फिर इससे भी कम पर रखने की जरूरत होती है। वहीं रयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक मडर्ना कंपनी द्वारा तैयार किए जा रहे वैक्सीन को शिपिंग के दौरान माइनस 20 डिग्री सेल्सियस में रखा जा सकता है और अधिकतम 6 माह तक इसे स्टोर कर सकते हैं, लेकिन सामान्य रेफ्रिजेरेटर तापमान पर इसे सिर्फ 10 दिन तक ही रख सकते हैं।
कुछ सप्ताह में तैयार हो जाएगी कोरोना की वैक्सीन – प्रधानमंत्री
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि भारत में कोविड-19 का टीका कुछ सप्ताह में तैयार हो सकता है। उन्होंने कहा कि वैज्ञानिकों की हरी झंडी मिलते ही देश में टीकाकरण अभियान शुरु कर दिया जाएगा। उन्होंने संकेत दिए कि कोरोना की वैक्सीन पहले बुजुर्गो, कोरोना वरियर्स को मिल सकती है। इसके साथ एक विशेष सफ्टवेयर पर काम कर रहा है, जो हर किसी को वैक्सीन पहुंचाने पर टै्रकिग करेगा। इस विषय पर केंद्र सरकार लगातार राज्यों के साथ संपर्क में हैं।
कोरोना वायरस पर सर्वदलीय बैठक में शामिल हुए विभिन्न दलों के प्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि इस बारे में बीते दिनों सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से भी लंबी चर्चा हुई है। भारत निर्मित टीका बनाने का प्रयास कर रहे वैज्ञानिकों से सार्थक बातचीत हुई है। वैज्ञानिक अपनी सफलता को लेकर बहुत आश्वस्त है। विशेषज्ञ मानकर चल रहे हैं कि कोरोना के टीके के लिए अब बहुत ज्यादा इंतजार नहीं करना होगा और माना जा रहा है कि यह कुछ सप्ताह में तैयार हो सकता है।