कोरोना: केंद्र ने घर-घर टीकाकरण की संभावना खारिज
नई दिल्ली, एजेंसी। केंद्र ने कहा कि कोविड-19 टीकाकरण कार्यक्रम के तहत सीवीसी की चार प्रमुख आवश्यकताएं- पर्याप्त स्थान, पर्याप्त कोल्ड स्टोरेज सुविधा, पर्याप्त संख्या में टीका लगाने वाले एवं चिकित्सकीय सहायक कर्मी की उपलब्धता और टीकाकरण के बाद प्रतिकूल प्रभाव के प्रबंधन के लिए पर्याप्त व्यवस्थाएं हैं।
केंद्र ने लोगों का घर-घर जाकर टीकाकरण करने की संभावना से उच्चतम न्यायालय में इनकार किया और कहा कि अच्टे, उचित और तर्कसंगत कारणों के लिए टीकाकरण कोविन पोर्टल पर पंजीत सरकारी एवं निजी कोविड टीकाकरण केंद्रों (सीवीसी) में किया जाएगा। केंद्र ने कहा कि कोविड-19 टीकाकरण कार्यक्रम के तहत सीवीसी की चार प्रमुख आवश्यकताएं- पर्याप्त स्थान, पर्याप्त कोल्ड स्टोरेज सुविधा, पर्याप्त संख्या में टीका लगाने वाले एवं चिकित्सकीय सहायक कर्मी की उपलब्धता और टीकाकरण के बाद प्रतिकूल प्रभाव के प्रबंधन के लिए पर्याप्त व्यवस्थाएं हैं।
केंद्र का यह जवाब शीर्ष अदालत के इस सवाल पर आया कि क्या वह कोविड-19 टीकाकरण के लिए देशव्यापी जन जागरूकता अभियान चलाने और लोगों का उनके घर पर टीकाकरण सुनिश्चित करने के लिए ग्रामीण इलाकों एवं वंचित वर्गों तक सचल वैन, वाहनों और रेलवे का उपयोग करके पहुंच सुनिश्चित करने की योजना बना रहा है ताकि लोगों को कम यात्रा करनी पड़े और कोविड-19 से संक्रमण की आशंका कम हो।
केंद्र ने अपने 218 पृष्ठों के विस्तृत हलफनामे में कहा, ‘‘यह स्पष्ट किया जाता है कि किसी घर के वातावरण में प्रतिकूल प्रभाव का समय से पर्याप्त तरीके से प्रबंधन करना या दरवाजे के पास टीकाकरण करना मुश्किल होगा तथा कोई प्रतिकूल प्रभाव होने पर हो सकता है कि मामले का प्रबंधन उचित तरीके से नहीं हो सके एवं ऐसी स्थिति में स्वास्थ्य सुविधा तक पहुंचने में देरी हो, भले ही पास में एम्बुलेंस तैनात हो।’’
सरकार ने कहा कि लाभार्थी अपने निवास पिन कोड के आधार पर कोविन सफ्टवेयर के माध्यम से पहचाने गए सीवीसी में स्लट बुक कर सकते हैं जिससे उन्हें पास के सीवीसी में टीकाकरण की सुविधा मिलेगी। केंद्र ने कहा कि टीकाकरण के बाद 30 मिनट के लिए प्रत्येक लाभार्थी की निगरानी रखने के प्रोटोकल को बनाए रखना संभव नहीं है, क्योंकि प्रत्येक घर में एक या दो लाभार्थी हो सकते हैं और टीकाकरण टीम के लिए प्रत्येक और हर घर में 30 मिनट से अधिक समय रहना व्यावहारिक रूप से संभव नहीं हो सकता है।
सरकार ने कहा कि इससे पूरे टीकाकरण अभियान में देरी होगी। केंद्र ने कहा कि टीकों को लगाने के लिए उसका विशेष तापमान बनाये रखने एवं संदूषण से बचाने के वास्ते उसे ‘‘वैक्सीन कैरियर’’ में रखने की जरूरत होती है।
उसने कहा कि यदि टीका घर-घर लगाया जाता है तो टीके को रखने वाले बक्स को बार-बार खोलने की आवश्यकता होगी, जिससे उसके तापमान की सीमा को बनाये रखना मुश्किल होगा। टीके की प्रभावशीलता और टीकाकरण के बाद के प्रतिकूल प्रभाव रोकने के लिए टीके को सही तापमान में बनाये रखना आवश्यक है।