भारतीय संस्कृति के खिलाफ है समलैंगिक विवाह

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जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : पूर्व सैनिक सेवा परिषद के सदस्यों ने समलैंगिक विवाह पर कानून बनाए जाने पर रोष व्यक्त किया है।
उपजिलाधिकारी प्रमोद कुमार के माध्यम से राष्ट्रपति को प्रेषित ज्ञापन में परिषद के सदस्यों ने कहा है कि समलैंगिक विवाह भारत की परंपरा के खिलाफ है। कहा कि वर्तमान में समलैंगिक विवाह को मान्यता देने की चर्चा जोर शोर से चल रही है। इसको लेकर न्यायालय में वाद भी विचारधीन है। इसे किसी भी कीमत पर स्वीकारा नहीं जा सकता। ज्ञापन में राष्ट्रपति से कानून बनने से पहले हस्तक्षेप करने की मांग की गई है। ज्ञापन प्रेषित करने वालों में परिषद के जी के बड़थ्वाल, सी पी डोबरियाल, विनोद ध्यानी, वीरेंद्र सिंह और जी डी जखमोला आदि थे।

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