यूसीसी को लेकर छात्र-छात्राओं को दी जानकारी
नई टिहरी : राजकीय महाविद्यालय देवप्रयाग में ‘समान नागरिक संहिता पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी में वक्ताओं ने छात्र-छात्राओं को यूसीसी को लेकर जानकारी दी। गुरुवार को महाविद्यालय में राजनीति विज्ञान विभाग की ओर से आयोजित संगोष्ठी की शुभारंभ प्राचार्य प्रो. प्रीति कुमार ने किया। उन्होंने कहा कि समान नागरिक संहिता अर्थात यूनिफॉर्म सिविल कोड सामाजिक मामलों से संबंधित कानून होता है, जो सभी पंथ के लोगों के लिए विवाह, तलाक, भरण पोषण, विरासत व बच्चा गोद लेने आदि में समान रूप से लागू होता है। इसमें अलग-अलग पंथ के लिए अलग-अलग सिविल कानून न होकर एक समान नागरिक संहिता का पालन किया जाता है। राजनीति विज्ञान प्राध्यापक डॉ. अर्चना धपवाल ने बताया कि भारतीय संविधान के भाग 4 अनुच्छेद 44 में स्पष्ट उल्लेख है कि, भारत राष्ट्र सम्पूर्ण क्षेत्र में नागरिकों के लिए एक समान नागरिक संहिता में सुरक्षित करने का प्रयास करेगा। उन्होंने कहा कि, यूसीसी के द्वारा एक देश में एक जैसा कानून होने पर एकता का संदेश प्रसारित होगा, जिससे देश की एकता एवं अखण्डता बनी रहेगी। महिला सुरक्षा एवं महिलाओं के विकास हेतु यह कानून लाभदायक होगा। डॉ. सोनिया ने समान नागरिक संहिता के इतिहास, संवैधानिक उल्लेख, उद्देश्य व इसके विरोध के बारे में विस्तृत रूप से चर्चा की। इसके तहत शादी, तलाक, सम्पत्ति व उत्तराधिकार के प्रावधानों बारे में छात्र-छात्राओं को जानकारी दी। संगोष्ठी में महाविद्यालय के सभी प्राध्यापक एवं छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे। (एजेंसी)