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आतंकियों और उसके समर्थकों का तैयार हो रहा है डाटाबेस, हथियारों की तस्करी करने वालों पर भी कसेगा शिकंजा

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नई दिल्ली, एजेंसी। देश भर में आतंकियों और उनके समर्थकों का डाटाबेस तैयार हो रहा है। इसके साथ ही मादक पदार्थों व हथियारों की तस्करी, हवाला, नकली नोट और बम धमाका करने वालों का डाटाबेस बनाने पर काम चल रहा है। एनआइए के स्थापना दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में गृह व सहकारिता मंत्री अमित शाह ने यह जानकारी दी। जम्मू-कश्मीर से आतंकवाद को समूल नष्ट करने में एनआइए की अहम भूमिका को रेखांकित करते हुए उन्होंने कहा कि आतंकवाद से बड़ा मानवाधिकारों का उल्लंघन कुछ और हो ही नहीं सकता इसीलिए आतंकवाद का समूल नाश मानव अधिकारों की रक्षा के लिए बहुत जरूरी है।
आतंक के जुड़े मामले में सटीक जांच और पुख्ता सबूतों के आधार पर 93 फीसद से अधिक आरोपियों को सजा दिलाने में एनआइए की सफलता को गोल्ड स्टैंडर्ड बताते हुए अमित शाह ने जांच को डिजिटल फारेंसिक, डाटा और इंफोर्मेशन पर आधारित बनाने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि इस दिशा में अलग-अलग क्षेत्रों में राष्ट्रीय डाटाबेस बनाने का काम सही दिशा में चल रहा है।
एक बार डाटाबेस तैयार हो जाने के बाद केंद्र के साथ-साथ राज्य की पुलिस एजेंसियों को जांच में काफी मदद मिलेगी। इसके अलावा युवाओं को आतंकी गतिविधियों से जोड़ने के तौर तरीकों के विश्लेषण के लिए अलग से मोडस ओपरेन्डी ब्यूरो बनाया गया है। इससे युवाओं को आतंकी गतिविधियों में शामिल होने से रोकने में मदद मिलेगी।
अमित शाह ने जम्मू-कश्मीर में टेरर फंडिंग के मामलों की जांच कर ओवरग्राउंड वर्कर्स, स्लीपर सेल और सफेदपोशों को बेनकाब करने के लिए एनआइए की तारीफ की। उन्होंने कहा कि एनआइए ने जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद को जड़ से उखाड़ देंकने की दिशा में बहुत बड़ी सहायता की है। उनके अनुसार एनआइए ने 2018 और 2019 में जो केस रजिस्टर किये थे, उनके कारण आज आतंकवादियों को पैसा मुहैया कराना मुश्किल हो गया है।
इससे उनके लाजिस्टिक और हथियारों की सप्लाई दोनों पर कठोर आघात हुआ है। उन्होंने कहा कि एनआइए की वजह से आतंकवाद को मदद करते हुए भी समाज में सम्मान के साथ जीने वाले बेनकाब हो गए हैं और उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू हो सकी है। एनआइए ने टेरर फंडिंग के मामले में 105 केस दर्ज किये हैं, जिनमें 876 आरोपियों के खिलाफ 94 चार्जशीट दाखिल की गई है। 796 आरोपियों को गिरफ्तार भी किया गया है और 100 को अदालत ने सजा भी सुनाई है।
अमित शाह ने बताया कि किस तरह से मोदी सरकार के दौरान एनआइए को मजबूत करने की दिशा में कई कदम उठाए गए हैं। इनकी बदौलत 13 साल के कम समय में एनआइए के प्रीमियम जांच के एजेंसी के रूप में उभरी है। उन्होंने कहा कि अब एनआइए को दुनिया की बेहतरीन जांच के रूप में स्थापित करना होगा। एनआइए के 13वें स्थापना दिवस के अवसर अमित शाह विभिन्न क्षेत्रों में सर्वश्रेष्ठ काम करने वाले एनआइए के अधिकारियों को सम्मानित भी किया।

 

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