उपजिलाधिकारी के कुम्भ क्षेत्र में तैनाती के आदेश को वापस लिया जाय
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार। कोटद्वार तहसील के उपजिलाधिकारी योगेश मेहरा की कुम्भ क्षेत्र में तैनाती के आदेश से पूर्व सैनिक सेवा परिषद भड़क गया है। परिषद के सदस्यों ने कहा कि तहसील में पहले ही स्थाई तहसीलदार की तैनाती नहंी है और अब उपजिलाधिकारी की तैनाती कुम्भ मेले में कर दी गई है। परिषद ने प्रदेश सरकार से उपजिलाधिकारी कोटद्वार योगेश मेहरा की कुम्भ क्षेत्र में तैनाती के आदेश को वापस लेने की मांग की है। साथ ही कोटद्वार तहसील में स्थाई तहसीलदार की नियुक्ति करने की मांग की है।
परिषद के मीडिया प्रभारी बलवान सिंह रावत ने कहा कि कोटद्वार तहसील पौड़ी जिले की सबसे संवेदनशील तहसील है। इस तहसील की सीमा उत्तर प्रदेश के जनपद बिजनौर से लगी हुई है। जनपद बिजनौर से अपराधी कोटद्वार में घुसकर घटनाओं को अंजाम देकर भाग जाते है। वहीं खनन, भूमि विवाद, अतिक्रमण सहित अन्य कई प्र्रकार के कानूनी मुकदमें सबसे ज्यादा इसी शहर में है। उन्होंने कहा कि पिछले काफी समय से कोटद्वार तहसील में स्थाई तहसीलदार की नियुक्त नहीं हुई है। जिससे जमीनों के दाखिल खारिज सहित अन्य कार्य प्रभावित हो रखे है। वहीं अब उपजिलाधिकारी को भी यहां से हटाकर कुंभ मेले में भेजा गया है। जिससे जनपद पौड़ी गढ़वाल की सबसे महत्वपूर्ण तहसील कोटद्वार में अधिकारियों का टोटा बन जायेगा। उन्होंने कहा कि सुरक्षा की दृष्टि से तहसील में उपजिलाधिकारी एवं स्थाई तहसीलदार की नियुक्ति की जानी चाहिए। पूर्व सैनिक सेवा परिषद ने सुझाव दिया है कि शासन को यदि पीसीएस अधिकारी की तैनाती कुम्भ क्षेत्र में करनी थी तो छोटी तहसीलों के पीसीएस अधिकारी जैसे धुमाकोट, लैंसडौन, यमकेश्वर के अधिकारी की तैनाती की जा सकती है। उन्होंने प्रदेश के मुख्यमंत्री से कोटद्वार तहसील के उपजिलाधिकारी की तैनाती को कुम्भ क्षेत्र से निरस्त करने की मांग की है।