विवादों में घिरी स्वीकृत चिल्हाड़ पेयजल योजना
क्षेत्रीय विधायक से मामले की शिकायत कर पेयजल योजना निर्माण कार्य पर रोक लगाने की मांग की
देहरादून। जल जीवन मिशन के तहत स्वीकृत चिल्हाड़ पेयजल योजना बनने से पहले ही विवादों में घिर गई। उत्तराखंड जल संस्थान द्वारा बनाई जा रही इस पेयजल योजना के निर्माण कार्य पर ग्राम प्रधान और क्षेत्रपंचायत सदस्य ने सवाल उठाए हैं। स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने क्षेत्रीय विधायक से मामले की शिकायत कर पेयजल योजना निर्माण कार्य पर रोक लगाने की मांग की है। जल जीवन मिशन के तहत घर-घर में पेयजल सुविधा मुहैया कराने के लिए सरकार ने करोड़ों का बजट मंजूर कर पेयजल योजना के निर्माण कार्य का जिम्मा कार्यदायी संस्था उत्तराखंड जलसस्थान और पेयजल निगम समेत कुछ अन्य एजेंसी को सौंपा है। इसकी ओपन टेंडर प्रक्रिया कुछ दिन पहले संपन्न हुई। इसके बाद सभी जगह पेयजल योजना के निर्माण कार्य चल रहे हैं। इसी कड़ी में चकराता ब्लॉक के सुदूरवर्ती चिल्हाड़ पंचायत के लिए पेयजल योजना बननी है। क्षेत्रपंचायत सदस्य गीतांजलि बिजल्वाण और प्रधान नवप्रभात बिजल्वाण ने चकराता विधायक और पीसीसी चीफ प्रीतम सिंह को प्रेषित शिकायती पत्र में कहा जल जीवन मिशन योजना के तहत स्वीकृत चिल्हाड़ पेयजल योजना का निर्माण कार्य स्थानीय ग्रामीणों की मांग के विपरीत हो रहा है। उन्होंने कहा लाखों की लागत से बन रही इस पेयजल योजना के तहत विभाग पुराने टैंक से बस्ती क्षेत्र में घरों के लिए नए कनेक्शन जोड़ रहा है, जबकि बस्ती क्षेत्र में अधिकांश घरों में पहले से पेयजल कनेक्शन उपलब्ध है। उन का ये भी कहना है कि चिल्हाड़ के लिए पुराने स्रोत डांगओडार से लाइन बनी है। स्थानीय ग्रामीण प्रस्तावित नए स्रोत दोगडा खड्ड से नवीन पेयजल योजना बनाने की मांग कर रहे हैं। नए स्रोत से पेयजल लाइन बनने से उसे पुराने टैंक में टेप किया जाए, जिससे ग्रामीणों को गर्मी केसीजन में पेयजल समस्या नहीं झेलनी पड़ेगी।
पुराने और नए स्रोत से लाइन बनने पर पंचायत में पेयजल किल्लत नहीं रहेगी। पेयजल योजना के निर्माण कार्य के तहत विभाग द्वारा पुराने टैंक से घरों के लिए जोड़े जा रहे नए कनेक्शन का स्थानीय जनप्रतिनिधि और ग्रामीण विरोध कर रहे हैं। मामले में चकराता विधायक प्रीतम सिंह ने अधिशासी अभियंता उत्तराखंड जलसंस्थान अनुरक्षण खंड देहरादून को कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।