अमेरिका में मडर्ना इंक मांगेगी वैक्सीन के आपात इस्तेमाल की मंजूरी, गंभीर मामलों में 100 फीसद प्रभावी होने का किया दावा
वाशिंगटन, एजेंसी। कोरोना वैक्सीन विकसित करने में की दौड़ में आगे चल रही मडर्ना इंककंपनी ने कहा है कि वह अमेरिकी और यूरोपीय आपातकालीन प्राधिकरण के समक्ष अपनी कोरोना वैक्घ्सीन के आपात इस्घ्तेमाल की मंजूरी के लिए आवेदन करेगी। मडर्ना ने दावा किया है कि उसका टीका बिना किसी गंभीर सुरक्षा चिंताओं के 94़1 फीसद प्रभावी है। मडर्ना इंक ने यह भी दावा किया है कि उसकी वैक्सीन मरीजों को गंभीर स्थिति में पहुंचने से रोकने में 100 फीसद प्रभावी है।
इसके साथ ही मडर्ना इंक अमेरिका में फाइजर और बायोएनटेक के बाद दूसरी कंपनी बन गई है जिसने अपने प्रोडक्ट के आपात इस्तेमाल की अनुमति मांगी है। मडर्ना इंक के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा़ टाल जैक्स ने कहा कि हमें यकीन है कि हमारा टीका बेहद प्रभावी है। हमारे पास इसे सिद्घ करने के लिए डाटा भी मौजूद है। हम उम्मीद कर रहे हैं कि महामारी को खत्म करने में हम बड़ी भूमिका निभाएंगे। उन्होंने बताया कि वैक्सीन के 94़1 फीसद कारगर होने की खुशी में उनकी आंखों से आंसू निकल आए थे।
इससे पहले दिग्गज दवा कंपनी फाइजर और जर्मनी की उसकी साझेदार जर्मन लेबोरेटरी बायोएनटेक ने अपनी कोविड-19 वैक्घ्सीन के आपात इस्तेमाल के लिए अमेरिकी खाद्य एवं औषधि प्रशासन से मंजूरी देने की मांग की थी। दोनों कंपनियों ने दावा किया था कि उनका टीका कोविड-19 के हल्के और गंभीर संक्रमण में बचाने में 95 फीसद तक कारगर है। इन कंपनियों ने कहा था कि टीके के अच्टे रिकार्ड को देखकर इसके आपात इस्तेमाल को मंजूरी दी जानी चाहिए।
बीते दिनों आई समाचार एजेंसी के मुताबिक, अमेरिकी नियामक खाद्य एवं दवा प्रशासन यानी एफडीए ही अंतिम जांच पूरी होने से पहले किसी दवा के आपात इस्तेमाल मंजूरी दे सकता है। बता दें कि अमेरिका में किसी भी वैक्सीन या दवा के इस्तेमाल के लिए अमेरिकी नियामक खाद्य एवं दवा प्रशासन की मंजूरी अनिवार्य होती है। ऐसी आपात मंजूरियों के लिए हजारों लोगों पर अध्ययन की जरूरत होती है। अमूमन इस प्रक्रिया में 10 साल तक लग जाते हैं। लेकिन ऐसे में जब महामारी के दौरान तात्कालिक लाभ जोखिम पर भारी दिखें तब एफडीए ऐसी मंजूरियां दे सकता है़.़