जी 20 बैठक से पहले ‘पुलवामा’ जैसा हमला करने की फिराक में आतंकी, आखिर क्यों पहेली बनी यह गाड़ी?
नई दिल्ली, एजेंसी। जम्मू-कश्मीर में ‘जी20’ की बैठक से पहले आतंकी संगठन, खतरनाक साजिश रच रहे हैं। पहले पुंछ हमला हुआ, जिसमें सेना के पांच जवान शहीद हो गए। इसके बाद राजौरी के कंडी जंगलों में बनी गुफाओं में छिपे आतंकियों के साथ हुई मुठभेड़ में भी सेना के पांच जवानों ने शहादत दी। पहले आईईडी ब्लास्ट और फिर जवानों पर अंधाधुंध फायरिंग की गई। कश्मीर घाटी में मौजूद सुरक्षा बलों के विश्वस्त सूत्र बताते हैं कि आतंकी संगठन ‘जी20’ की बैठक से पहले ‘पुलवामा’ हमले जैसा कुछ बड़ा कर सकते हैं। इस कड़ी में विस्फोटकों से भरी आतंकियों की गाड़ी अभी तक पहेली बनी है। कई बार उस गाड़ी की लोकेशन ट्रेस हुई है, मगर सुरक्षा बलों की वहां तक पहुंच नहीं हो सकी है। दूसरी तरफ पाकिस्तान के आतंकी संगठन ‘जैश-ए-मोहम्मद’ की जम्मू-कश्मीर में सक्रिय प्रॉक्सी विंग ‘पीपुल्स एंटी-फासिस्ट फ्रंट’ (पीएएफएफ) यह दावा कर रही है कि सुरक्षा बल उनकी चाल में फंस कर नुकसान झेल रहे हैं। वे जैसा चाहते हैं, सुरक्षा बलों को उसी तरफ आने पर मजबूर कर देते हैं।
पीपुल्स एंटी फासिस्ट फ्रंट के प्रवक्ता तनवीर अहमद राथर के हवाले से हाल ही में कई प्रेस रिलीज जारी की गई हैं। इनमें कहा गया है कि आतंकियों ने सोची-समझी साजिश के तहत सैन्य जवानों पर हमला किया है। पुंछ हमला हो या राजौरी अटैक, दोनों ही हमलों में सुरक्षा बलों को चकमा दिया गया है। आतंकियों द्वारा राजौरी के जंगल में ट्रैप लगाया गया। पीएएफएफ का दावा है कि पुंछ और राजौरी हमले की तैयारी बहुत पहले से चल रही थी। इतना ही नहीं, आतंकी संगठन पीएएफएफ ने पुंछ हमले के दौरान सरकार की तरफ से कही गई कुछ बातों को गलत बताया है। प्रेस रिलीज में कहा गया कि पुंछ हमले के दौरान आसमानी बिजली नहीं गिरी थी। मौसम साफ था। हमले से जुड़े वीडियो जल्द ही जारी किए जाएंगे, आतंकी संगठन ने यह भी कहा है। दूसरी ओर, कई दिनों से सुरक्षा बलों ने आतंकियों की तलाश में सर्च ऑपरेशन शुरू किया है। दोनों ही हमलों को अंजाम देने वाले आतंकियों का अभी तक कोई सुराग नहीं लग सका है।
सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों का कहना है कि मई के चौथे सप्ताह में कश्मीर में प्रस्तावित जी20 की बैठकों से पहले आतंकी संगठन ‘पुलवामा’ जैसे बड़े हमले को अंजाम देने की फिराक में हैं। ऐसे कई इनपुट मिल रहे हैं कि कश्मीर में विस्फोटकों से भरी एक गाड़ी घूम रही है। उसकी लोकेशन ट्रेस करने के प्रयास हो रहे हैं। कई बार उस गाड़ी की लोकेशन ट्रेस भी हुई है, लेकिन अभी तक सुरक्षा बल वहां तक नहीं पहुंच सके हैं। इस हमले को अंजाम देने के लिए आतंकियों की जो टीम लगी है, उसमें विदेशी यानी पाकिस्तान मूल के आतंकी भी शामिल हैं। पिछले दिनों मिले इनपुट में ब्लास्ट का सामान एकत्रित करने की बात सामने आई थी। हर उस मार्ग पर रोड ओपनिंग पार्टी ‘आरओपी’ लगाई गई हैं, जहां से सुरक्षा बलों की गाड़ियां गुजरती हैं। सेना एवं दूसरे सुरक्षा बलों के कैंपों के आसपास गाड़ियों की चेकिंग की जा रही है।