वनकर्मियों ने गुलदार को अन्यत्र शिफ्ट करने की उठाई मांग
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार । कालागढ़ टाइगर रिजर्व फारेस्ट की अदनाला रेंज की मुंडियापानी बीट में मंगलवार को वनकर्मी पर गुलदार ने हमला कर घायल कर दिया था। इससे सभी वनकर्मी दहशत में हैं। बुधवार को दैनिक/संविदा/आउटसोर्स वन कर्मियों की बैठक में हमलावर गुलदार को अन्यत्र शिफ्ट करने व दुर्गम क्षेत्रों में गश्त की बाध्यता समाप्त करने की मांग की। ऐसा न होने की आंदोलन की चेतावनी दी गई है।
बुधवार को दैनिक/संविदा/ आउटसोर्स वन कर्मचारी संघ की बैठक में गुलदार के हमले की घटना पर रोष जताया गया। कहा कि वन क्षेत्र में लगातार कर्मियों पर जंगली जानवरों के हमले की घटनाएं हो रही हैं। लेकिन, उच्च स्तर से आज तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। वन्य जीवों के हमले के दौरान शासन की ओर से कोरी घोषणाएं की जाती हैं, लेकिन इन घोषणाओं पर अमल नहीं किया जाता। मांग की गई कि वन्य जीवों के हमले में घायल कर्मी को पांच लाख की आर्थिक सहायता दी जाए। कार्बेट टाइगर रिजर्व ने दैनिक श्रमिकों को तीन माह का वेतन दीपावली से पूर्व दे दिया। लेकिन, कालागढ़ टाइगर रिजर्व में कर्मियों को छह माह से वेतन नहीं मिला है। बैठक में दैनिक कर्मियों को वेतन देने, दुर्गम क्षेत्रों में गश्त की अनिवार्यता समाप्त करने, गश्त बटियाओं को गश्त योग्य बनाने और दैनिक श्रमिकों को बीट सहायक के रूप में समायोजित करने और 18 हजार का न्यूनतम वेतन देने की मांग की गई। बैठक में संघ के प्रदेश अध्यक्ष देवेंद्र सिंह, संरक्षक चंद्रप्रकाश, अभिषेक, चंद्रमोहन सिंह, राजकीय वाहन चालक महासंघ के अध्यक्ष जीतेंद्र सिंह, सहायक कर्मचारी संघ के प्रभागीय अध्यक्ष रवींद्र देव, महामंत्री देवचरण सिंह रावत, भगवती प्रसाद, उमेश चंद्र, वन आरक्षी संघ के अध्यक्ष राकेश मोहन जोशी, मंत्री त्रिलोक चंद्र तिवारी आदि ने विचार रखे।