राज्य आंदोलनकारियों ने मांगों को लेकर तहसील में दिया धरना
जयन्त प्रतिनिधि।
कोेटद्वार। उत्तराखण्ड राज्य निर्माण सेनानी मोर्चा के बैनर तले राज्य आंदोलनकारियों ने विभिन्न मांगों को लेकर मंगलवार को तहसील में धरना प्रदर्शन दिया। आंदोलनकारियों ने मांगों को लेकर उपजिलाधिकारी योगेश मेहरा के माध्यम से प्रदेश के मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा।
मोर्चा के अध्यक्ष महेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि 31 दिसंबर 2017 से पूर्व के जिलाधिकारी कार्योलयों में चिन्हिकरण के लिए लम्बित आंदोलनकारियों के आवेदन का तहसील स्तर पर स्थानीय अधिसूचना इकाई (एलआईयू) द्वारा जांच करवाकर एक निश्चित अवधि तक निस्तारण करवाया जाय, ऐसे चिन्हित राज्य आंदोलनकारी जो पेंशन की पात्रता रखते हैं और उनकी मृत्यु हो चुकी है उनके आश्रितों को पेंशन के दायरे में लाकर आंदोलनकारियों की भांति सुविधा प्रदान की जाय, चिन्हित राज्य आंदोलनकारी को एक समान पेंशन दी जाय, चिन्हित राज्य आंदोलनकारी जो घायल, जेल अस्थाई जेल, मुकदमों एवं शासकीय अभिलेखों में दर्ज चिन्हित हो उनका मानक एक दिन बनाया जाय, उनको 7 दिन जेल व गंभीर रूप से घायल वाली सुविधा प्रदान की जाय, उत्तराखण्ड राज्य सरकार आंदोलनकारियों के 2015 में विधान सभा में पास 10 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण विधेयक राजभवन से वापस मंगाकर शीघ्र लागू किया जाय, उत्तर प्रदेश के न्यायालयों एवं सीबीआई कोर्ट में मुजफ्फरनगर कांड के मुकदमें से सम्बन्धित वाद लंबित है। प्रदर्शन करने वालों में अध्यक्ष महेंद्र सिंह रावत, संरक्षक भूपेन्द्र सिंह रावत, महामंत्री गुलाब सिंह रावत, डॉ. शक्तिशैल कपरवाण, पंकज उनियाल, कमल किशोर खंतवाल, राकेश मोहन काला, दुर्गा काला, रामकुमार महेश्वरी, लीलावती देवी, मुन्नी कंडवाल, सुरी देवी, इच्छा नेगी, कुसुम बड़थ्वाल, मंजू कोटनाला, पार्वती अधिकारी, रामेश्वरी देवी, लक्ष्मी रावत, संगीता देवी, कांता देवी आरती बिष्ट आदि शामिल थे।