कुछ करने के लिए इच्छा शक्ति होनी चाहिए- पहले की सरकार में…: योगी आदित्यनाथ
गोरखपुर : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सुशासन की के लिए जरूरी होता है कानून का राज। इसमें लिए आवश्यक है सुदृढ न्याय की व्यवस्था। समयबद्ध एवं सस्ता न्याय सुशासन की पहली शर्त है। अधिवक्ता चेम्बर बनने से लोगों को तुरंत न्याय मिलेगा।
मुख्यमंत्री सोमवार को कलेक्ट्रेट परिसर में आयोजित अधिवक्ता चेम्बर भवनों के लोकार्पण एवं डिजिटल लाइब्रेरी के शिलान्यास कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा न्याय व्यवस्था के अधिवक्ता प्रतिनिधि हैं।
यहां के अधिवक्ता के संगठनों के साथ मेरा पिछले 30 साल से नजदीक से सम्बंध रहा है। अधिवक्ता अपने काम में व्यस्त होता है लेकिन गोरखपुर के हित में जब भी कोई आंदोलन हुआ वे साथ रहे। उन्होंने कहा कि अधिवक्ता चेम्बर बनना एक शुरुआत है अंत नहीं यहां 1908-09 में बना कलेक्ट्रेट भवन जर्जर हो गया था।
अब यहां एकीकृत भवन बनने जा रहा है। सभी जिला स्तरीय कार्यालय यहीं होगा। उस समय अधिवक्ता संगठनों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी। उन्हें दूर नहीं जाना होगा। सभी कोर्ट एक जगह होंगे। सरकार की ओर से नए अधिवक्ताओं को प्रोत्साहित करने के लिए व्यवस्था की गई है। अधिवक्ता कल्याण निधि बढ़ाई गई है। हाई कोर्ट इलाहाबाद में 10 हजार अधिवक्ताओं के बैठने की व्यवस्था की जा रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला कोर्ट का भवन बहुत अच्छा बन जाता है लेकिन हम भूल जाते हैं कि न्याय की गति को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका अधिवक्ता की है। इसलिए उनके लिए भी सुविधा जरूरी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश भर में जिला कलेक्ट्रेट के अधिवक्ता चेम्बर लिए प्रस्ताव मांगे हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें तकनीक से जुड़ेंगे। जितना इससे जुड़ेंगे उतना ही पीड़ित को न्याय दिला पाएंगे। तकनीक की महत्ता को देखते हुए यहां डिजिटल लाइब्रेरी दे रहे हैं। बताया गया है कि 109 साल पुरानी लाइब्रेरी भी यहां है। जिसका भवन जर्जर है। उन्होंने जिलाधिकारी को निर्देश दिया कि उसका प्रस्ताव बनाकर भेजें। यहां अच्छी लाइब्रेरी बननी चाहिए। लाइब्रेरी सकारात्मक संदेश देती है, ज्ञान देती है।
उन्होंने कहा कि यहां कलेक्ट्रेट के पुराने भवन ने 100 साल तक लोगों को न्याय दिया है। अब नए भवन का डीपीआर तैयार हो रहा है। जैसे ही प्रस्ताव आएगा उसे मंजूरी देकर निर्माण शुरू कराएंगे। नए भवन के जरिए अगले 100 साल तक न्याय दिलाने की व्यवस्था करेंगे।
उन्होंने कहा कि यहां से इंसेफेलाइटिस खत्म हो चुकी है। इससे 40 वर्ष में 50 हजार से अधिक बच्चों की जान पूर्वी उत्तर प्रदेश में गई है। कुछ करने के लिए इच्छा शक्ति होनी चाहिए। पहले की सरकार में इच्छाशक्ति नहीं थी। वे परिवारवाद, गुंडागर्दी, अराजकता को बढ़ावा देते थे।
इंसेफेलाइटिस पर नियंत्रण के लिए व्यवस्था देने के लिए मेडिकल कालेज से कमिश्नरी तक निकलने वाली पद यात्रा सफल हुई। इसी को साधना का सिद्ध होना कहते हैं। इस आंदोलन में सभी संगठन इसमें शामिल हुए। मुख्यमंत्री ने नए भारत का नया उत्तर प्रदेश है तो नए उत्तर प्रदेश में नया गोरखपुर है और उसी में कलेक्ट्रेट भवन से पहले अधिवक्ता चेम्बर आ गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि डबल इंजन की सरकार आपके साथ है। आपके हितों का संरक्षण करेगी। हितों का संरक्षण करते हुए विकास के पथ पर आगे बढ़ेंगे।