सड़क पर दिन काट रहे आपदा प्रभावित परिवार, बीमारियों का बढ़ने लगा खतरा
काशीरामपुर तल्ला में सड़क किनारे टेंट डालकर रह रहे सैकड़ों बाढ़ पीड़ित परिवार
जयन्त प्रतिनिधि।
कोटद्वार : अतिवृष्टि के बाद बेघर हुए परिवार काशीरामपुर तल्ला में सड़क किनारे दिन काटने को मजबूर हो रहे हैं। सड़क किनारे जगह-जगह जमा गंदगी व कीचड़ से इन परिवारों को संक्रामक बीमारियों का भी खतरा सताने लगा है। परिवार के सदस्य प्रशासन से लगातार उनके पुर्नवास की मांग उठा रहे हैं। लेकिन, अब तक प्रशासन की ओर से परिवारों को नजर अंदाज ही किया जा रहा है।
13 अगस्त की रात हुई अतिवृष्टि से उफान पर बनी खोह नदी लकड़ीपड़ाव, झूलाबस्ती व काशीरामपुर तल्ला में 21 पक्के भवनों को ढहा दिया था। बेघर परिवारों को को राहत शिविरों में शरण दी गई। लेकिन, धीरे-धीरे स्थिति सामान्य होने के बाद बारात घरों में बने राहत शिविर भी बंद होने लगे हैं। ऐसे कुछ परिवार तो किराए के कमरों में चल गए। लेकिन, कई अब भी काशीरामपुर तल्ला में टेंट लगाकर रहने को मजबूर हो रहे हैं। ऐसे में टेंट लगाकर रह रहे परिवारों के समक्ष कई समस्याएं उत्पन्न होने लगी है। सबसे अधिक परेशानी बुर्जुग व बच्चों को हो रही है। पूर्व में पीड़ित परिवार प्रशासन से उनके पुर्नवास की भी मांग उठा चुके हैं। लेकिन, आपदा के बाद किसी भी अधिकारी या कर्मचारी ने परिवारों की सुध नहीं ली।
दुर्गंध मार रहा जमा पानी व कीचड़
सड़क किनारे जगह-जगह जमा वर्षा का पानी व कीचड़ अब दुर्गंध मारने लगा है। ऐसे में परिवारों का टेंट के भीतर रहना भी दूभर हो गया है। सबसे अधिक चिंता छोटे बच्चों की बनी हुई है। हालांकि, स्वास्थ्य विभाग की टीम समय-समय पर पहुंचकर इन परिवारों के स्वास्थ्य की जांच भी कर रही है। बुखार-सर्दी-जुकाम से पीड़ित व्यक्तियों को दवा भी उपलब्ध करवाई जा रही है।
सता रही भविष्य की चिंता
काशीरामपुर तल्ला स्थित कई परिवार भवन ढहने के बाद पिछले 15 दिन से टेंट में रह रहे हैं। विभिन्न संस्थाओं की ओर से परिवारों को खाना-पीना उपलब्ध करवाया जा रहा है। लेकिन, बेघर हुए यह परिवार आखिर कब तक टेंट में अपना जीवन व्यतीत करते रहेंगे यह बड़ा सवाल है। जबकि, यह अधिकांश परिवार मेहनत-मजदूरी कर अपने परिवार की आर्थिकी चलाते हैं। पीड़ित परिवारों ने सरकार से उन्हें पुर्नवास उपलब्ध करवाने के लिए योजना बनाने की मांग की है। कहा कि बेघर परिवारों के हित में सरकार को गंभीरता से कार्य करना होगा।