हेलीकॉप्टर क्रैश : तो ब्लैक बॉक्स खोलेगा हादसे के राज
-वायु सेना के जवानों ने गुरुवार को खोज निकाला ब्लैक बॉक्स
-ब्लैक बॉक्स से अब यह पता लग सकता है कि हेलीकॉप्टर क्रैश के क्या थे कारण
नई दिल्ली, एजेंसी : तमिलनाडु में बुधवार को क्रैश हुए वायुसेना के हेलीकॉप्टर का ब्लैक बॉक्स (डाटा रिकॉर्डर) गुरुवार सुबह मिल गया। इसकी मदद से अब इस क्रैश की वजह जल्द ही पता लगने की संभावना है। इस क्रैश में चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत, उनकी पत्नी मधुलिका और 11 अन्य जवानों की मौत हो गई थी।
विंग कमांडर आर भारद्वाज की अगुआई में वायुसेना के 25 सदस्यों की एक स्पेशल टीम ने यह ब्लैक बॉक्स बरामद किया है। हालांकि, इस पर अधिक जानकारी अभी उपलब्ध नहीं है। ‘द ट्रिब्यून’ की खबर के मुताबिक, यह टीम गुरुवार सुबह से ब्लैक बॉक्स की खोज में जुट गई थी। बुधवार को बचावदल का प्रमुख उद्देश्य सभी शवों को वेलिंगटन आर्मी अस्पताल पहुंचाना था, इसलिए ब्लैक बॉक्स की खोज गुरुवार से शुरू हुई। ब्लैक बॉक्स से अब यह पता लग सकता है कि हेलीकॉप्टर किन कारणों से क्रैश हुआ। इसके अलावा चॉपर के हिस्सों की फॉरेंसिक जांच से भी यह पता लग सकता है कि कहीं किसी बाहरी कारण की वजह से तो यह हादसा नहीं हुआ।
इस बीच, 6 सदस्यों वाली एक स्पेशल मेडिकल टीम कुन्नूर हवाई हादसे में एकमात्र जीवित बचे ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह के इलाज में जुटी हुई है। उनकी हालत गंभीर है और वेलिंगटन आर्मी अस्पताल में उनका इलाज चल रहा है। सूत्रों के मुताबिक, शौर्य चक्र से सम्मानित हो चुके ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह का शरीर 60 प्रतिशत जल चुका है।
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क्या होता है ब्लैक बॉक्स
ब्लैक बॉक्स हर प्लेन का सबसे जरूरी हिस्सा होता है। इसमें प्लेन की हर गतिविधियां रिकॉर्ड होती हैं। इसे फ्लाइट डाटा रिकॉर्डर भी कहते हैं। इसे सुरक्षा की दृष्टि से विमान के पिछले हिस्से में रखते हैं। यह मजबूत धातु टाइटेनियम का बना होता है। इसके बाद भी उसे टाइटेनियम के ही बने डिब्बे में बंद करके रखते हैं। ताकि किसी भी दुर्घटना के वक्त यह टूटे नहीं या इसे नुकसान नहीं हो।