उत्तराखंड

बदरीनाथ मंदिर के दर्शन करने जा रही जनता को पुलिस ने लौटाया

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चमोली। बदरीनाथ मंदिर के दर्शन करने जा रही स्थानीय जनता को पुलिस ने बदरीनाथ मंदिर से पहले ही पुलिया पर रोक लिया। कोरोना संक्रमण के प्रति सतर्कता को देखते हुए उच्च न्यायालय के निर्देश के अनुसार अभी आम लोगों को दर्शन की अनुमति नहीं है और यात्रा भी स्थगित है। शुक्रवार को बदरीनाथ में स्थानीय बामणी गांव, माणा के लोग, पंडा-डिमरी समाज और हक हकूकधारी जब बदरीनाथ मंदिर के दर्शन करने जा रहे थे तो पुलिस ने बदरीनाथ मंदिर से पहले ही पुलिया पर बैरिकेडिंग कर उन्हें रोक दिया और वापस लौटाया। इसके बाद आक्रोशित जनता ने साकेत तिराहे से विरोध रैली शुरू कर नगर पंचायत तक पहुंचे। वहां से लौटने के बाद साकेत तिराहे पर बदरीनाथ के विधायक का पुतला दहन कर नारेबाजी की। कहा कि चारधाम यात्रा नहीं होने से हजारों लोगों की आर्थिकी ठप हो गयी है, लेकिन सरकार और स्थानीय विधायक जनता की पीड़ा के प्रति उदासीन हैं। लोगों ने बदरीनाथ में मौजूदा विधायक के विरुद्ध नारेबाजी कर पूर्व विधायक राजेन्द्र भंडारी के पक्ष में नारे लगाए। भाजपा विधायक महेन्द्र भट्ट ने कहा जनता की समस्या और मांग की भावना से वह जुड़े हैं, लेकिन इस मुद्दे पर पुतला दहन और नारेबाजी राजनीती है। बदरीनाथ में अनशन के पहले दिन में भाजपा युवा मोर्चा के अध्यक्ष मनदीप भंडारी, बद्रीश संघर्ष समिति के अध्यक्ष राजेश मेहता, पंडा तीर्थ पुरोहित 65 वर्षीय काशी पाल, 70 वर्षीय बचन सिंह चौहान, विनोद डिमरी सहित पांच लोग बैठे। बदरी संघर्ष समिति के अध्यक्ष राजेश मेहता ने कहा यात्रा शुरू करने की मांग के लिए प्रदर्शन, जुलूस के साथ क्रमिक अनशन शुरू कर दिया गया है। वहीं व्यापार सभा अध्यक्ष विनोद नवानी और भारतीय जनता पार्टी युवा मोर्चा के अध्यक्ष मनदीप भंडारी का कहना है कि यात्रा के प्रति सरकार का रवैया उदासीन है।

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